Study In Canada: भारतीय छात्रों का कनाडा से मन भर चुका है। वे उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए अब कनाडा नहीं जाना चाहते बल्कि दूसरे देशों का रुख कर रहे हैं। जानिए क्या है इसका कारण-
Study In Canada: भारतीय छात्रों का कनाडा से मन भर चुका है। वे उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए अब कनाडा नहीं जाना चाहते बल्कि दूसरे देशों का रुख कर रहे हैं। ऐसा कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिस ट्रूडो के उस फैसले के बाद हो रहा है, जिसमें उन्होंने स्टडी परमिट जारी करने पर लिमिट लगाने का आदेश दिया। ऐसे में कनाडा को करोड़ों रुपये का नुकसान हो सकता है।
दरअसल, इस वर्ष जनवरी महीने में कनाडा सरकार की ओर से ऐलान किया गया था कि वह अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए स्टडी वीजा (Student Visa) पर अस्थायी रोक लगा रहा है। इसके साथ ही, कनाडा ने स्टूडेंट वीजा पर 50% की कटौती भी की थी। देश के इमिग्रेशन मिनिस्टर मार्क मिलर के मुताबिक, स्टडी वीजा जारी करने पर लगी रोक के चलते 2024 में सिर्फ 3,64,000 स्टडी परमिट ही जारी हो पाएंगे। यह संख्या 2023 की तुलना में 35% कम है।
ApplyBoard कंपनी की एक रिपोर्ट के अनुसार, 2024 के अंत तक दिए गए नए स्टडी परमिट की संख्या 231,000 से कुछ अधिक होगी, जो 2023 में स्वीकृत 436,000 के बिलकुल विपरीत है। बता दें, यह एक अनुमानित डाटा है। रिपोर्ट में पाया गया कि कनाडा में पढ़ाई करने जाने वाले पीजी छात्रों (जो इसमें शामिल नहीं है) की संख्या में भी काफी कमी देखी गई।
छात्रों का रूझान अब कनाडा की ओर से हट रहा है। कनाडा छोड़कर अन्य देशों का रुख करने वाले छात्रों में से अधिकांश: अमेरिका, जर्मनी, इटली जा रहे हैं। साथ ही छात्रों के बीच ऑस्ट्रेलिया और ब्रिटेन भी काफी ज्यादा पॉपुलर हो रहा है।
भारतीय छात्र (Indian Students) यदि कनाडा में पढ़ने जाते हैं तो सिर्फ ट्यूशन फीस नहीं देखा जाता है, उनके रहने-खाने समेत अन्य चीजों के भी खर्च को गिना जाएगा। कुल मिलाकर प्रत्येक भारतीय छात्र 37.3 बिलियन कैनेडियन डॉलर (लगभग 2.4 लाख करोड़ रुपये) खर्च करता है। सिर्फ इतना ही नहीं, कनाडा के रेस्तरां से लेकर अन्य जगहों पर विदेशी छोटे-मोटे कई काम में अपना योगदान देते हैं। अगर कनाडा में विदेशी छात्रों की संख्या कम होगी तो इसका सीधा असर उसकी अर्थव्यवस्था पर पड़ेगा।