Symptoms of Prostate Cancer : प्रोस्टेट कैंसर पुरुषों में होने वाला एक आम कैंसर है. यह प्रोस्टेट ग्रंथि में होता है, जो पेशाब की थैली के नीचे और पेशाब की नली के चारों ओर होती है. यह स्पर्म बनाने में मदद करती है. पहले यह बीमारी बुजुर्गों में दिखती थी, पर अब युवाओं में भी तेज़ी से बढ़ रही है.
Symptoms of Prostate Cancer : प्रोस्टेट कैंसर, मर्दों में होने वाला एक आम कैंसर है. ये प्रोस्टेट ग्लैंड (ग्रंथि) में होता है. अब ये प्रोस्टेट ग्लैंड क्या है? ये पुरुषों के शरीर का एक छोटा सा हिस्सा है जो स्पर्म (शुक्राणु) बनाने में मदद करता है. ये पेशाब की थैली के ठीक नीचे होता है और पेशाब की नली इसके बीच से होकर गुजरती है.
पहले ऐसा माना जाता था कि ये कैंसर सिर्फ बूढ़े लोगों को ही होता है, लेकिन आजकल ये जवान लोगों में भी तेजी से बढ़ता दिख रहा है.
WHO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) के हिसाब से, साल 2022 में अपने देश भारत में 37,948 नए लोगों को प्रोस्टेट कैंसर हुआ था. ये संख्या दुनिया भर में जितने भी कैंसर के मामले सामने आए, उनका करीब 3% है.
पर सबसे ज़्यादा चिंता वाली बात ये है कि अब ये कैंसर 50 साल से कम उम्र के मर्दों में भी तेज़ी से फैल रहा है, और जब ये युवाओं में होता है तो ज़्यादा खतरनाक तरीके से सामने आता है.
Cancer: इन लक्षणों को ना करें इग्नोर, हो सकता है ये खतरनाक कैंसर
असल में हमारे शरीर में कोशिकाएं (Cells) होती हैं जो एक तय तरीके से बढ़ती और काम करती हैं. जब प्रोस्टेट ग्रंथि की ये कोशिकाएं अजीब तरीके से बढ़ने लगें और बेकाबू होकर बँटना (divide होना) शुरू कर दें, तो इसी को हम कैंसर कहते हैं.
कभी-कभी ये कैंसर बहुत धीरे-धीरे बढ़ता है, जिससे शायद सालों तक कोई दिक्कत न हो. पर कुछ मामलों में, ये बहुत तेज़ी से फैलता है और खतरनाक भी हो सकता है.
आजकल कम उम्र के लड़कों में भी प्रोस्टेट कैंसर के मामले ज़्यादा देखने को मिल रहे हैं. इसके कुछ खास कारण ये हो सकते हैं:
कम फिजिकल एक्टिविटी: अगर आप ज़्यादा हिलते-डुलते नहीं हैं और बैठे रहते हैं, तो ये एक बड़ी वजह है.
मोटापा: वज़न का ज़्यादा होना भी इस कैंसर के खतरे को बढ़ाता है.
खराब खान-पान: जंक फूड, ज़्यादा रेड मीट (जैसे मटन, बीफ) और प्रोसेस्ड फूड (जो पैकेट में आते हैं) खाने से भी ये खतरा बढ़ सकता है.
स्मोकिंग और शराब: धूम्रपान और शराब पीने की बुरी आदतें भी प्रोस्टेट कैंसर को बढ़ावा देती हैं.
परिवार में कैंसर का इतिहास: अगर आपके पिताजी, दादाजी या किसी करीबी रिश्तेदार को पहले कभी प्रोस्टेट कैंसर हुआ है, तो आपको भी इसका खतरा ज़्यादा हो सकता है.
खराब जीन्स का असर: कुछ लोगों में जन्म से ही ऐसे जीन्स होते हैं जो कैंसर का खतरा बढ़ाते हैं.
प्रदूषण और रसायन: बढ़ते प्रदूषण और कुछ खास तरह के हानिकारक रसायनों (केमिकल्स) के संपर्क में आने से भी कैंसर होने का जोखिम बढ़ जाता है.
इन बातों पर ध्यान देकर हम प्रोस्टेट कैंसर के खतरे को कुछ हद तक कम कर सकते हैं.
आजकल कम उम्र के लड़कों में भी प्रोस्टेट कैंसर के मामले ज़्यादा देखने को मिल रहे हैं. इसके कुछ खास कारण ये हो सकते हैं:
कम फिजिकल एक्टिविटी: अगर आप ज़्यादा हिलते-डुलते नहीं हैं और बैठे रहते हैं, तो ये एक बड़ी वजह है.
मोटापा: वज़न का ज़्यादा होना भी इस कैंसर के खतरे को बढ़ाता है.
खराब खान-पान: जंक फूड, ज़्यादा रेड मीट (जैसे मटन, बीफ) और प्रोसेस्ड फूड (जो पैकेट में आते हैं) खाने से भी ये खतरा बढ़ सकता है.
स्मोकिंग और शराब: धूम्रपान और शराब पीने की बुरी आदतें भी प्रोस्टेट कैंसर को बढ़ावा देती हैं.
परिवार में कैंसर का इतिहास: अगर आपके पिताजी, दादाजी या किसी करीबी रिश्तेदार को पहले कभी प्रोस्टेट कैंसर हुआ है, तो आपको भी इसका खतरा ज़्यादा हो सकता है.
खराब जीन्स का असर: कुछ लोगों में जन्म से ही ऐसे जीन्स होते हैं जो कैंसर का खतरा बढ़ाते हैं.
प्रदूषण और रसायन: बढ़ते प्रदूषण और कुछ खास तरह के हानिकारक रसायनों (केमिकल्स) के संपर्क में आने से भी कैंसर होने का जोखिम बढ़ जाता है.
इन बातों पर ध्यान देकर हम प्रोस्टेट कैंसर के खतरे को कुछ हद तक कम कर सकते हैं.
शुरुआत में प्रोस्टेट कैंसर का पता लगाना मुश्किल होता है, क्योंकि इसके कोई खास लक्षण दिखते ही नहीं हैं. लेकिन जैसे-जैसे बीमारी बढ़ती है, तो कुछ निशानियाँ दिखना शुरू हो सकती हैं:
बार-बार या रात में ज़्यादा पेशाब आना.
पेशाब करते समय जलन या दर्द महसूस होना.
पेशाब की धार का कमजोर होना या रुक-रुक कर आना.
वीर्य में खून आना: कभी-कभी वीर्य (Semen) में खून दिख सकता है.
दर्द:
पीठ, कमर या कूल्हों में लगातार दर्द बने रहना.
प्रोस्टेट कैंसरएडवांस स्टेज में:
बहुत ज़्यादा थकान महसूस होना.
अचानक से वज़न कम होना.