अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स (एएपी) द्वारा जारी नई गाइडलाइन्स में बाल रोग विशेषज्ञों को सलाह दी गई है कि बच्चों के दर्द के इलाज में ओपिओइड दवाओं का उपयोग केवल आवश्यकता पड़ने पर ही सावधानीपूर्वक किया जाए। यह पहली बार है जब बच्चों में ओपिओइड्स के उपयोग को लेकर क्लिनिकल प्रैक्टिस गाइडलाइन्स तैयार की गई हैं
Painkillers to children : अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स (एएपी) ने बच्चों में दर्द निवारण के लिए ओपिओइड दवाओं के उपयोग पर नई गाइडलाइन्स जारी की हैं। इन गाइडलाइन्स में बताया गया है कि बाल रोग विशेषज्ञ (पीडियाट्रिशियन) बच्चों को ओपिओइड दवाएं तभी लिखें जब यह अत्यधिक आवश्यक हो और सावधानीपूर्वक करें। गाइडलाइन्स का उद्देश्य बच्चों में दीर्घकालिक नशीली दवाओं की लत के जोखिम को कम करना है।
गाइडलाइन्स के अनुसार, यदि बच्चों को हल्के या मध्यम दर्द (Painkillers to children) की समस्या हो तो पहले अन्य गैर-ओपिओइड दवाओं का उपयोग किया जाना चाहिए। इसमें एसिटामिनोफेन और इबुप्रोफेन जैसी दवाओं को प्राथमिकता दी जानी चाहिए। गंभीर दर्द के मामलों में ही ओपिओइड दवाओं का सहारा लिया जाए।
गाइडलाइन्स के अनुसार, ओपिओइड दवाओं के साथ नालॉक्सोन नामक दवा का उपयोग भी सिफारिश की गई है। नालॉक्सोन एक ऐसी दवा है जो ओपिओइड ओवरडोज की स्थिति में इसका प्रभाव रिवर्स कर सकती है, जिससे गंभीर परिणामों से बचा जा सकता है।
गाइडलाइन्स के प्रमुख लेखक, डॉ. स्कॉट हैडलैंड के अनुसार, पिछले दो दशकों में ओपिओइड दवाओं के उपयोग में कमी आई है। इससे बच्चों के दर्द का समुचित उपचार नहीं हो पा रहा था, लेकिन अब यह आवश्यक हो गया है कि ओपिओइड्स का उपयोग सिर्फ आवश्यक परिस्थितियों में ही किया जाए।
डॉ. हैडलैंड का मानना है कि दर्द और तनाव बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य को गंभीर नुकसान पहुंचा सकते हैं। ऐसे में डॉक्टरों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि दर्द को कम करने के लिए वे उचित कदम उठाएं ताकि बच्चों में नशीली दवाओं की लत का खतरा कम किया जा सके।
Painkillers to children : गाइडलाइन्स में यह भी कहा गया है कि ओपिओइड दवाओं के साथ गैर-औषधीय उपायों, जैसे कि फिजियोथेरेपी, का भी इस्तेमाल किया जाना चाहिए। इससे बच्चों के दर्द में राहत के साथ उनकी कार्यक्षमता भी बढ़ेगी।
मरीजों और उनकी देखभाल करने वालों को ओपिओइड दवाओं के सुरक्षित उपयोग, स्टोरेज और डिस्पोजल के बारे में शिक्षित करना भी बेहद महत्वपूर्ण है। एएपी ने कोडीन और ट्रेमेडोल जैसी ओपिओइड दवाओं के उपयोग पर भी प्रतिबंध लगाए हैं, जो केवल वयस्कों के लिए निर्धारित हैं।
एएपी की ये नई गाइडलाइन्स बच्चों में दर्द निवारण के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। इन दिशानिर्देशों का पालन करके बाल रोग विशेषज्ञ बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित कर सकते हैं और नशीली दवाओं की लत के दीर्घकालिक खतरों से बचा सकते हैं।