Malaria : मानसून के समय में अक्सर वेक्टर जनित बीमारियों जैसे डेंगू, मलेरिया (Malaria) और चिकनगुनिया का खतरा बढ़ जाता है। मलेरिया के मामले उन स्थानों पर अधिक होते हैं, जहां मच्छरों के पनपने की संभावना अधिक होती है। भारत में हर साल डेंगू और मलेरिया के हजारों मामले सामने आते हैं।
Malaria : मानसून के समय में अक्सर वेक्टर जनित बीमारियों जैसे डेंगू, मलेरिया (Malaria) और चिकनगुनिया का खतरा बढ़ जाता है। मलेरिया के मामले उन स्थानों पर अधिक होते हैं, जहां मच्छरों के पनपने की संभावना अधिक होती है। भारत में हर साल डेंगू और मलेरिया के हजारों मामले सामने आते हैं। क्या आपने कभी यह सुना है कि गर्म मौसम में मलेरिया का खतरा बढ़ता है? हां, गर्म तापमान आपकी स्वास्थ्य पर विपरीत असर डाल सकता है। हाल ही में एक अध्ययन में यह पाया गया है कि तापमान में वृद्धि या गर्म मौसम से मलेरिया का संचरण तेजी से होता है।
अध्ययन में वैज्ञानिकों ने यह पाया कि फीमेल एनोफिलीज मच्छरों के माध्यम से मलेरिया (Malaria) फैलाने वाले दो प्रमुख पैरासाइट्स, प्लास्मोडियम फाल्सीपेरम और प्लास्मोडियम विवैक्स, गर्म जलवायु में तेजी से प्रसार कर सकते हैं। समय के साथ पर्यावरण में हुए परिवर्तनों के कारण इन पैरासाइट्स में महत्वपूर्ण बदलाव देखे गए हैं, जो भविष्य में मलेरिया के प्रसार का एक बड़ा कारण बन सकते हैं। इस संदर्भ में, शोधकर्ताओं ने सुझाव दिया है कि लोगों को केवल बारिश के दिनों में नहीं, बल्कि गर्म मौसम में भी मलेरिया से सावधान रहना चाहिए। मलेरिया तब फैलता है जब फीमेल एनोफिलीज मच्छर किसी व्यक्ति को काटता है।
मलेरिया से सुरक्षा के लिए आपको लंबी बाजू के कपड़े पहनने की सलाह दी जाती है। इससे मच्छरों से बचाव संभव होता है। इसके अलावा, घर के आस-पास पानी जमा न होने दें। मलेरिया से बचने के लिए मच्छरदानी का उपयोग करना भी आवश्यक है।