घोषणा के बाद से ही लोगों को मार्केट शुरू होने का इंतजार है। प्रसाद व भोग के इस मार्केट के स्थापित होने पर बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे।
56 Chappan Dukan : शहर में छप्पन भोग मार्केट बीरबल की खिचड़ी बन गया है। निगम के ‘मेन्यू’ का प्राइम प्रोजेक्ट होने के बावजूद दो साल से पक रहा है। अब तक जगह का चयन ही नहीं हो सका। निगम ने इसके लिए कुछ स्थल प्रस्तावित किए हैं लेकिन अंतिम निर्णय नहीं हो पा रहा। इसकी घोषणा के बाद से ही लोगों को मार्केट शुरू होने का इंतजार है। प्रसाद व भोग के इस मार्केट के स्थापित होने पर बड़ी संया में लोगों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे।
इंदौर के 56 भोग मार्केट (Chappan Dukan) की तर्ज पर यहां भी मार्केट शुरू होना है। इसको कुछ इस प्रकार तैयार करना है, जहां छप्पन प्रकार के भोग एक ही जगह उपलब्ध हो सकें। इनमें रसगुल्ला, चन्द्रकला, रबड़ी, शूली, दधी, भात, दाल, चटनी, कढ़ी, साग-कढ़ी, मठरी, बड़ा, कोणिका, पूरी, खजरा, अवलेह मिल सके। इसके साथ ही वाटी, सिखरिणी, मुरब्बा, मधुर, कषाय, तिक्त, कटु पदार्थ, अल खट्टा पदार्थ, शक्करपारा, घेवर, चिला, मालपुआ, जलेबी, मेसूब, पापड़, सीरा, मोहनथाल, लौंगपूरी, खुरमा, गेहूं दलिया, पारिखा, सौंफ़लघा, लड़्ड़ू, दुधीरुप, खीर, घी, मक्खन, मलाई, शाक, शहद, मोहनभोग, अचार, सूबत, मंडक़ा, फल, लस्सी, मठ्ठा, पान, सुपारी, और इलायची जैसे भोग भी मिल सकेंगे।
नगर के सिविक सेंटर में खाली पड़ी जमीन, भंवरताल की कल्चरल स्ट्रीट, पुराने बस स्टैंड के खाली पड़े एक हिस्से समेत कुछ और जगह भूखंड 56 भोग के लिए प्रस्तावित है।
56 भोग मार्केट स्थापित करने कुछ साइट देखी गई हैं, उनमें से एक स्थल को फाइनल किया जाना है। इसके बाद मार्केट को इस प्रकार से विकसित किया जाएगा, जहां विविधता के साथ भोग-प्रसाद व व्यंजन उपलब्ध हो सकें।