जयपुर

जैविक तरीके से बैसाखी मूंग की खेती

मालाखेड़ा(बीकानेर) क्षेत्र में जैविक पद्धति से दलहनी फसल बैसाखी मूंग का उत्पादन लिया जा रहा है। इस पद्धति से भूमि की उर्वरक क्षमता भी बढ़ रही है।

less than 1 minute read
May 18, 2024
जैविक तरीके से बैसाखी मूंग की खेती कर कमा रहे मुनाफा

ऑर्गेनिक दालों की मांग अधिक होने के कारण किसानों को मुनाफा भी अधिक हो रहा है। पीलाढाबा, खेरवाड़ी, लिली, बडेर में प्रमुख रूप से मूंग की खेती की जा रही है।

प्रति बीघा 8-10 क्विंटल पैदावार
किसान उमेंद्र यादव ने बताया, 200 रुपए प्रति किलो की दर से करीब 12 किलो बीज लाकर डेढ़ बीघा में बोए। फव्वारा पद्धति से सिंचाई की गई है। इसमें गोवंश के मूत्र का छिड़काव, देसी व केंचुआ खाद उपयोग में ली गई। किसी भी तरह के रसायन का इस्तेमाल नहीं किया गया। एक बीघा में आठ से 10 क्विंटल पैदावार ले रहे हैं।

तीन महीने में मात्र 10 हजार लागत
किसान महेश यादव के अनुसार, वह लगातार 10 वर्ष से बैसाखी मूंग की खेती ऑर्गेनिक तरीके से कर रहे हैं। हर वर्ष करीब डेढ़ बीघा में पूसा बैसाखी मूंग बोकर अच्छा उत्पादन ले रहे हैं। इससे करीब 60 से 70 हजार की आमदनी होती है। तीन महीने में मात्र 10 हजार लागत आती है।

स्वास्थ्यवर्धक उत्पादन
कृषि विशेषज्ञों का कहना है, दलहनी फसलों की इस ऑर्गेनिक खेती से जो उत्पादन प्राप्त होता है, वह शुद्ध व स्वादिष्ट होने के साथ ही स्वास्थ्यवर्धक भी होता है। - अवधेश सिंह

Published on:
18 May 2024 05:46 pm
Also Read
View All

अगली खबर