Rajasthan News : वर्चुअल लाइफ लोगों की रियल लाइफ को नुकसान पहुंचा रही है। इससे न केवल लोगों के आपसी रिश्ते खराब हो रहे हैं बल्कि इससे उपज रहे विवाद से घरों का माहौल भी खराब रहा है।
जयपुर. वर्चुअल लाइफ लोगों की रियल लाइफ को नुकसान पहुंचा रही है। इससे न केवल लोगों के आपसी रिश्ते खराब हो रहे हैं बल्कि इससे उपज रहे विवाद से घरों का माहौल भी खराब रहा है। इसका सबसे ज्यादा असर वैवाहिक जीवन पर पड़ रहा है। लगातार ऐसे मामले राजधानी के मनोवैज्ञानिक, रिलेशनशिप काउंसलर तक पहुंच रहे हैं, जिसमें दंपती सोशल मीडिया के कारण झगड़ रहे हैं।
दरअसल, सोशल साइट्स पर रील्स- फोटो अपलोड करने या देखने के साथ ही लाइक, शेयर और कमेंट करना एक सामान्य बात है, लेकिन सोशल मीडिया रिश्तों पर इतना हावी हो गया है कि नौबत तलाक तक पहुंच गई है। बातचीत में एक काउंसलर ने बताया कि पत्नी-पति में से किसी एक द्वारा सोशल मीडिया पर किए गए पोस्ट, स्टोरी, कमेंट, लाइक और रील्स के कंटेंट को लेकर विवाद हो रहा है। इस तरह की घटनाओं को लेकर परेशान पति-पत्नी आए दिन मनोवैज्ञानिक, रिलेशनशिप काउंसलर के पास पहुंच रहे हैं। एक निजी अध्ययन के मुताबिक सोशल मीडिया के कारण तलाक की दर में 4.32 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। वहीं, 35 प्रतिशत जोड़े हर महीने सोशल मीडिया पोस्ट को लेकर बहस करते रहते हैं।
तलाक देना मंजूर, लेकिन पासवर्ड देना नहीं: मानसरोवर निवासी की रीना भाटिया (परिवर्तित नाम) ने शादी के 8 महीने बाद ही पति पर मानसिक प्रताड़ना का आरोप लगाया। पति फेसबुक और मोबाइल का पासवर्ड शेयर करने को कहता। दोनों में तलाक हो गया।
व्यक्ति कुछ सेकंड की रील देखकर रियल लव, आइडियल कपल और परफेक्ट रिलेशनशिप की कल्पना करने लगता है। यही लड़ाई की वजह बनने लगा है। एक-दूसरे की भावनाओं की कद्र करें। -डॉ. धर्मदीप सिंह, सहआचार्य, मनोचिकित्सा केंद्र, जयपुर