Fennel Seeds Side Effects: सौंफ औषधीय गुणों से भरपूर होती है और यह शरीर को कई तरह से लाभ पहुंचाती है, लेकिन जरूरत से ज्यादा सेवन सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है।आइए जानते हैं इसके बारे में। (Side Effects Of Eating Fennel Seeds)
Fennel Seeds Side Effects: सौंफ एक ऐसा मसाला है जिसे भारतीय लोग खाने का स्वाद बढ़ाने के लिए इस्तेमाल करते हैं। साथ ही लोग इसका उपयोग माउथ फ्रेशनर के रूप में भी करते हैं। लेकिन यह केवल स्वाद तक सीमित नहीं है, इसमें कई आयुर्वेदिक गुण भी पाए जाते हैं। सौंफ में कैल्शियम, आयरन, पोटैशियम और सोडियम जैसे महत्वपूर्ण खनिज मौजूद होते हैं जो शरीर को स्वस्थ रखने में मदद करते हैं और कई बीमारियों से बचाते हैं। हालांकि हर चीज के फायदे और नुकसान दोनों होते हैं, वैसे ही सौंफ का अधिक सेवन भी शरीर को कुछ हानि पहुंचा सकता है। आइए जानते हैं इसके बारे में।
त्वचा संबंधित समस्याएं (Skin related problems)
गर्मियों में सौंफ का ज्यादा सेवन करने से कुछ लोगों को त्वचा में एलर्जी, खुजली, लालपन या सूजन जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
पाचन तंत्र पर असर (Effect on digestive system)
अत्यधिक मात्रा में सौंफ खाने से गैस बनना, पेट में भारीपन, फुलाव और अपच जैसी दिक्कतें हो सकती हैं।
हार्मोनल असंतुलन (Hormonal imbalance)
सौंफ में मौजूद कुछ Natural Chemicals शरीर के हार्मोन संतुलन को प्रभावित कर सकते हैं, विशेष रूप से उन लोगों में जो पहले से हार्मोन से जुड़ी परेशानियों से जूझ रहे हों।
दवाओं के असर को कम कर सकती है (May decrease the effect of medications)
अगर आप ब्लड थिनर या कोई विशेष दवाएं ले रहे हैं, तो बिना चिकित्सकीय सलाह के सौंफ का सेवन न करें, क्योंकि यह दवाओं की Effectiveness को घटा सकती है।
सौंफ से अधिकतम लाभ पाने के लिए इसका सेवन सीमित और सही मात्रा में करना चाहिए। आप इसे रातभर पानी में भिगोकर सुबह उसका पानी पी सकते हैं और सौंफ को चबा भी सकते हैं। खाने के बाद लगभग एक छोटी चम्मच सौंफ लेना फायदेमंद होता है। अगर आप सौंफ की चाय बना रहे हैं, तो 2 ग्राम तक पर्याप्त है। वहीं, अगर आप सौंफ को सीधा चबाकर खा रहे हैं या इसका पाउडर ले रहे हैं, तो दिनभर में ¼ से ½ टीस्पून काफी है।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।