Flood Alert: जबलपुर से नर्मदापुरम तक बाढ़ का अलर्ट, जानें नर्मदा से जुड़े अन्य बांधों की स्थिति....
Flood Alert: महाकौशल के जबलपुर और शहडोल संभाग में लगातार हो रही भारी बारिश के के चलते सोमवार 29 जुलाई को दोपहर 2.30 बजे रानी अवंतिबाई लोधी सागर परियोजना बरगी डैम के 7 गेट खोल दिए गए। सोमवार दोपहर 12 बजे बांध का जलस्तर 419 मीटर पहुंच गया था, जिसके परियोजना प्रशासन ने 21 में से 7 गेट खोलकर 35 हजार 552 क्यूसेक ( 10 लाख लीटर प्रति सेकंड) पानी छोड़ा है।
इससे कुछ ही घंटे में 40 किमी दूर जबलपुर के सभी घाटों पर कई फीट पानी बढ़ गया। नर्मदा नदी खतरे के निशान की ओर बढ़ रही है। बाढ़ के खतरे को देखते हुए प्रशासन ने निचले इलाकों में अलर्ट जारी कर दिया है, वहीं लोगों से नर्मदा नदी के तट और घाटों से दूरी बनाए रखने को कहा गया है।
कार्यपालन यंत्री अजय सूरी ने बताया कि बरगी डैम के 7 गेट में से गेट नम्बर 10, 11 और 12 को डेढ़-डेढ़ मीटर तक, गेट नम्बर 9 और 13 को 1-1 मीटर और गेट नम्बर 8 और 14 को आधा-आधा मीटर तक की ऊंचाई तक खोला गया है।
बरगी डैम के गेट खोले जाने के तीन घंटे बाद ही गौरीघाट, तिलवाराघाट, लम्हेटाघाट, भेड़ाघाट में जल स्तर 7-8 फीट बढ़ गया। नर्मदा के तटवर्ती क्षेत्रों से लोगों को दूर रहने के लिए अलर्ट जारी किया गया है। सुरक्षा के मद्देनजर कुछ तटों पर पुलिसकर्मी गश्त कर रहे हैं।
बरगी बांध से 35 हजार 552 क्यूसेक ( 10 लाख लीटर प्रति सेकंड ) पानी छोड़े जाने से नर्मदा नदी उफान पर होगी। इसलिए जबलपुर से लेकर खंडवा, नरसिंहपुर, हरदा, खरगोन और नर्मदापुरम (narmadapuram) जिले के सभी घाटों तक जल स्तर तेजी से बढ़ेगा। नर्मदा के सभी प्रमुख घाटों पर प्रशासन ने बैरिकेडिंग कर लोगों को दूर रहने को कहा है।
जल संसाधन विभाग के मुताबिक जबलपुर के बरगी बांध से नर्मदापुरम तक की दूरी 302 किमी है, ऐसे में टाइम लैग पर नजर डाली जाए तो यहां करीब 30 से 40 घंटे यानी एक से डेढ़ दिन में जलस्तर 10 फीट तक बढ़ सकता है।
बरगी डैम के कार्यपालन यंत्री एके सूरी ने बताया कि बरगी डैम का कैचमेंट एरिया 14 हजार 556 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है। पिछले 48 घंटे में डैम के कैचमेंट एरिया में भारी बारिश दर्ज की गई। इसकी वजह से रविवार 28 जुलाई तक बरगी डैम का जलस्तर 418.25 मीटर तक पहुंच गया था। सोमवार 29 जुलाई को जैसे ही यह 419 मीटर पहुंचा, इसके गेट खोलने की तैयारियां शुरू हो गईं।
बता दें कि बांध का फुल टैंक लेवल 422.76 मीटर है और वर्तमान में पानी की आवक 2 हजार 144 क्यूसेक है। ऑपरेशन मैन्युल के अनुसार 31 जुलाई तक 418 मीटर के निर्धारित स्तर से ऊपर हो जाता, ऐसे में बांध मैन्युल के मुताबिक वॉटर लेवल को कंट्रोल में रखने के लिए इसके गेट खोले गए हैं।
जबलपुर में हुई भारी बारिश के चलते वैसे ही नर्मदा का जलस्तर काफी बढ़ा हुआ है। वहीं अब बरगी डैम के 7 गेट खोले जाने से भारी मात्रा में पानी हर पल नदी में छोड़ा जाएगा। इससे नर्मदा के घाटों पर 8 से 10 फीट तक जलस्तर बढ़ सकता है। जबलपुर के ग्वारीघाट में डेढ़ से 2 घंटे में इसका असर दिखाई देने लगा। कई घाटों और निचले क्षेत्रों में बाढ़ जैसे हालात बनते दिखे।
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बता दें कि बरगी डैम से पानी छोड़ने के बाद नर्मदा का जल स्तर बढ़ने से कई जिलों में बाढ़ का अलर्ट जारी किया गया है। वहीं खंडवा का इंदिरा सागर डैम भी लगभग फुल होने की कगार पर है। इसके साथ ही ओंकारेश्वर डैम भी सोमवार तक 195.53 मीटर हो गया था। जबकि इसका टैंक लेवल 196.6 मीटर है। यानी ये ओंकारेश्वर डैम केवल 1.07 मीटर तक ही खाली रह गया है। ऐसे में अगर भारी बारिश का दौर जारी रहा, तो जल्द ही इसके गेट भी खोल दिए जाएंगे।
उधर नर्मदापुरम का तवा डैम भी फुल होने के कगार पर है। सोमवार को डैम का वॉटर लेवल 352.56 मीटर तक था। जबकि इसका फुल टैंक 355.4 मीटर है। यानी ये डैम केवल 2.84 मीटर ही खाली रह गया है। वहीं बारना डैम में तीन दिन पहले शनिवार 27 जुलाई को दोपहर 2.30 बजे 6 गेट खोल दिए गए। डैम का जलस्तर 346.13 हो गया है। पहले चार गेट 2-2 मीटर तक खोले गए। एक घंटे बाद दो और गेट खोल दिए गए। 6 गेट को 3-3 मीटर की ऊंचाई तक खोला गया। जिससे 38 हजार 600 क्यूसिक पानी छोड़ा जा रहा है।
गौरतलब है कि नर्मदापुरम जिले का तवा डैम, रायसेन जिले का बारना डैम का पानी भी नर्मदा नदी में मिलता है। जब बरगी डैम का पानी भी में नर्मदा में छोड़ा जाता है, तो ऐसी स्थिति में तीनों डैम का पानी आफत लेकर आता है और नर्मदापुरम शहर टापू में तब्दिल हो जाता है।