Bihar Assembly Election 2025: बिहार के बाद अब अन्य राज्यों में भी विशेष पुनरीक्षण अभियान (SIR) की तैयारियां शुरू हो गई हैं। इसका उद्देश्य मतदाता सूची को पूरी तरह पारदर्शी और शुद्ध बनाना है।
चुनाव आयोग (Election Commission) ने सभी राज्यों में मतदाता सूची के विशेष पुनरीक्षण अभियान (Special Intensive Revision - SIR) शुरू करने का निर्णय लिया है, जैसा कि बिहार में किया गया। इसका मुख्य उद्देश्य मतदाता सूची को पूरी तरह पारदर्शी और शुद्ध बनाना है, ताकि इसमें किसी भी विदेशी नागरिक का नाम शामिल न हो। बिहार में हाल की जांच के दौरान सीमांचल सहित कई क्षेत्रों में विदेशी नागरिकों के नाम मतदाता सूची में पाए गए। चूंकि देश में दो दशक पहले इस तरह का विशेष अभियान चलाया गया था और तब से परिस्थितियां काफी बदल चुकी हैं, इसलिए अब मतदाता सूचियों की बारीकी से जांच जरूरी हो गई है।
चुनाव आयोग ने सभी राज्यों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (CEO) को निर्देश दिए हैं कि वे इस अभियान की तैयारी करें और आधिकारिक वेबसाइट पर अंतिम विशेष पुनरीक्षण सूची उपलब्ध कराएं।
राजस्थान में आखिरी बार 2002 में विशेष गहन पुनरीक्षण हुआ था। अब उसी आधार पर नई मतदाता सूची तैयार की जाएगी।
अन्य राज्यों में भी यह अभियान अलग-अलग समय पर हुआ था, जैसे दिल्ली में 2008 और उत्तराखंड में 2006 में।
चुनाव आयोग का विशेष फोकस उन राज्यों पर है, जहां 2026 में विधानसभा चुनाव होने हैं। इनमें शामिल हैं:
इन राज्यों में मतदाता सूची का विशेष पुनरीक्षण प्राथमिकता के आधार पर किया जाएगा।
विशेष पुनरीक्षण अभियान का उद्देश्य मतदाता सूची को त्रुटिरहित और अपडेट करना है। इसके तहत निम्नलिखित कदम उठाए जाते हैं:
चुनाव आयोग इस अभियान को पूरे देश में लागू करना चाहता है ताकि: