प्रेम प्रकाश को अवैध खन्न और लैंड स्कैम से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस में आरोपी बनाया गया था। जनवरी 2023 में झारखंड हाईकोर्ट ने उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी थी। इसके बाद उन्होंने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया।
मनी लॉन्ड्रिंग (Money laundering) के मामले में दो साल से भी ज्यादा वक्त से जेल में बंद झारखंड (Jharkhand) के चर्चित कारोबारी प्रेम प्रकाश (Prem Prakash) को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने शर्तों के साथ जमानत दे दी है। जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस संजय कुमार की बेंच ने शुक्रवार को उसकी जमानत मंजूर करते हुए कहा कि वह अपना पासपोर्ट ट्रायल कोर्ट में जमा करेंगे और बिना कोर्ट की इजाजत के देश नहीं छोड़ेंगे। प्रेम प्रकाश झारखंड में सत्ता और ब्यूरोक्रेसी के गलियारे में बेहद चर्चित नाम रहा है। ईडी ने उसे 25 अगस्त, 2022 को गिरफ्तार किया था। इसके पहले उसके डेढ़ दर्जन से ज्यादा ठिकानों पर छापेमारी की गई थी। इस दौरान उसके रांची के हरमू कॉलोनी स्थित किराए के मकान से दो ए.के. 47 राइफलें और 60 कारतूस बरामद किए गए थे।
उसके खिलाफ अवैध खनन और जमीन घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े दो अलग-अलग केस हैं। एक केस में उसे पहले ही जमानत मिल चुकी थी, जबकि दूसरे केस में उसकी जमानत आज मंजूर की गई है। इसके बाद उसके जेल से बाहर आने का रास्ता सामने आ गया है।
झारखंड की सीनियर आईएएस पूजा सिंघल, उनके पति और अन्य के ठिकानों पर वर्ष 2022 में ईडी ने मनरेगा घोटाले की रकम की मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में छापा मारा और इसके बाद माइंस डिपार्टमेंट के कई अफसरों से पूछताछ हुई तो प्रेम प्रकाश सहित दो-तीन पावर ब्रोकर के कनेक्शन भी सामने आये थे। मूल रूप से बिहार के सासाराम का रहने वाला प्रेम प्रकाश सात-आठ साल पहले झारखंड आया और उसने सत्ता से लेकर ब्यूरोक्रेसी के गलियारे में जबरदस्त रसूख हासिल कर ली थी।