ग्रामीणों ने बताया कि अंतिम संस्कार करने के लिए बीच रास्ते में बांडी नदी आती है। उस जगह अगर रपट निर्माण करके नीचे पाइप डाल दिए जाते है तो ग्रामीणों की समस्या का समाधान हो जाएगा।
राजस्थान के पाली के रोहट क्षेत्र के दिवान्दी के ग्रामीणों के लिए किसी परिजन का अंतिम सफर भी इतना दुखदायी है कि यह दर्द सिर्फ उन्हें ही नजर आ रहा है। जनप्रतिनिधी और प्रशासन आंखें मूंद कर बैठे हैं, जिसके कारण श्मशान भूमि तक पहुंचने वाली अंतिम यात्रा को बांडी नदी के बहते पानी के अन्दर से गुजरना पड रहा है।
हालात यह है कि दिवान्दी गांव में कुछ दिनों में तीसरी मौत हो गई, लेकिन ग्रामीणों की समस्या का समाधान नहीं हुआ। अंतिम यात्रा बहते नदी के पानी से निकालनी पड़ रही है। दिवान्दी गांव में मंगलवार को युवा भैराराम सुथार की मौत हो गई।
उसके परिजन एवं ग्रामीण अंतिम संस्कार करने श्मशान भूमि पर लेकर गए तो बीच रास्ते में रपट पर बांडी नदी का पानी बह रहा था। बहते पानी से ग्रामीणों को अंतिम यात्रा निकाल कर श्मशान भूमि पहुंचे व अंतिम संस्कार किया। उनकी मांग है कि यहां रपट बननी चाहिए।
यह वीडियो भी देखें
दिवान्दी के ग्रामीणों ने बताया कि अंतिम संस्कार करने के लिए बीच रास्ते में बांडी नदी आती है। वो जगह मात्र 400 मीटर की जगह है। उस जगह अगर रपट निर्माण करके नीचे पाइप डाल दिए जाते है तो ग्रामीणों की समस्या का समाधान हो जाएगा।