Mahakumbh 2025: प्रयागराज में रेलवे की पहल पर बाल अधिकार डेस्क बनाया जा रहा है। बिछड़े और मेले में परिवार से अलग हो रहे बच्चों को परिवारजनों से मिलाने में ये डेस्क काम करेगा। आइये बताते हैं रेलवे अधिकारी ने क्या कहा ?
Mahakumbh 2025: प्रयागराज में अब बच्चों के बिछड़ने का डर नहीं रहेगा। मेले में बिछड़े हुए बच्चों की देखभाल और उन्हें जल्दी से जल्दी उनके परिवारजनों से मिलाने के लिए हेल्प डेस्क बनाया जायेगा। रेलवे की पहल पर ये हेल्प डेस्क बनाया जायेगा। ये डेस्क बच्चों के अधिकार की सुरक्षा के लिए बनाया जा रहा है।
उत्तर मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी शशी कांत त्रिपाठी ने बताया कि महाकुंभ में हर आयु वर्ग के लोग आते हैं। इसमें बच्चे, युवा और बुजुर्ग होते हैं। भीड़ ज्यादा होने की वजह से कई बार ऐसा होता है कि बच्चे अपने अभिभावकों से बिछड़ जाते हैं। इन बच्चों की देखभाल और इन्हे परिवारवालों से मिलाने के लिए ‘बाल अधिकार डेस्क’ बनाया जा रहा है।
उत्तर मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी शशी कांत त्रिपाठी ने बताया कि बच्चों को उनके परिजनों से मिलाने के लिए, उनका कोई किसी तरह का दुरुपयोग न हो सके और इन सारी चीज़ों को ध्यान में रखते हुए हम अपने प्रयागराज परिक्षेत्र के जितने भी स्टेशन हैं वहां ‘बाल अधिकार डेस्क’ स्थापित करेंगे।
उत्तर मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी शशी कांत त्रिपाठी ने बताया कि बाल अधिकारी डेस्क में आरपीएफ, जीआरपी और जितने नहीं गैर-सरकारी संस्था (NGOs) इस काम में लगे हुए हैं उनकी मदद लेंगे। इन सभी को बच्चों के साथ अच्छे और मधुर व्यवहार के लिए ट्रेनिंग दी जा रही है। बच्चों के अधिकार सुरक्षित रहें यही रेल का कर्त्तव्य है।