राजसमंद

दीपावली ऑफर्स के नाम पर साइबर फ्रॉड का खतरा, सावधानी से ही बचेगी मेहनत की कमाई

दीपावली नजदीक आते ही बाजारों में रौनक लौट आई है।

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राजसमंद. दीपावली नजदीक आते ही बाजारों में रौनक लौट आई है। सड़कों पर जगमगाती झालरों के बीच खरीदारों की भीड़, दुकानों पर ऑफर्स की बाढ़ और मोबाइल पर लगातार आने वाले फेस्टिवसेल संदेश सब मिलकर त्योहारी माहौल को और रंगीन बना रहे हैं। पर इस चकाचौंध के बीच एक अदृश्य खतरा भी तेजी से सिर उठा रहा है साइबर फ्रॉड।

फेस्टिव सीजन में साइबर ठगों की बढ़ी सक्रियता

जैसे-जैसे लोग ऑनलाइन शॉपिंग की ओर बढ़े हैं, वैसे-वैसे साइबर अपराधी भी अपने तरीके बदल रहे हैं। दीपावली के दौरान जब हर कोई सस्ते ऑफर और भारी डिस्काउंट की तलाश में इंटरनेट खंगालता है, तभी ठगों का नेटवर्क भी सक्रिय हो जाता है। आकर्षक डील्स, नकली वेबसाइट्स, और फर्जी पेमेंट लिंक्स के जरिए ये ठग खरीदारों को अपने जाल में फंसा लेते हैं। राजसमंद साइबर सेल के अधिकारियों के अनुसार, पिछले तीन वर्षों में दीपावली के समय ऑनलाइन फ्रॉड के मामलों में करीब 40 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है।

ट्रेंडिंग ऑफर्स बन रहे हैं नए जाल

त्योहारों के इस मौसम में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर “90% OFF”, “Free Gift”, “लकी ड्रॉ जीतें” जैसे लुभावने विज्ञापन आम हैं। कई बार ये विज्ञापन इतनी विश्वसनीयता के साथ बनाए जाते हैं कि लोग बिना सोचे-समझे लिंक पर क्लिक कर देते हैं। पर नतीजा यह होता है कि :-

  • न तो सामान मिलता है,
  • न पैसे वापस आते हैं,
  • और कई बार बैंक खाता भी खाली हो जाता है।

फेक वेबसाइट्स की पहचान मुश्किल, लेकिन असंभव नहीं

साइबर विशेषज्ञ बताते हैं कि अब इंटरनेट पर हजारों फर्जी वेबसाइट्स मौजूद हैं जो असली ई-कॉमर्स साइट्स जैसी दिखती हैं। इनका डिजाइन, लोगो, और नाम तक असली साइट जैसा होता है। हैकर्स इन वेबसाइट्स के जरिए कार्ड डिटेल्स, ओटीपी, और बैंकिंग डेटा चुरा लेते हैं। कई बार असली वेबसाइट जैसा पेज बनाकर आपको रीडायरेक्ट कर दिया जाता है, ताकि आपको धोखे का एहसास तक न हो।

ऑनलाइन खरीदारी करते समय रखें ये सावधानियां

  • भरोसेमंद वेबसाइट से ही खरीदारी करें।
  • कभी भी किसी अज्ञात लिंक से पेमेंट न करें।
  • ऑफर देखकर तुरंत क्लिक न करें।
  • किसी भी डील की पुष्टि संबंधित कंपनी की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर करें।
  • वेबसाइट की सुरक्षा जांचें।
  • साइट का पता https:// से शुरू होना चाहिए, सिर्फ http:// होने पर सावधान रहें।
  • रिटर्न पॉलिसी पढ़ें।
  • बहुत सस्ता दिखने वाला उत्पाद किसी शर्त या झांसे के साथ आ सकता है।
  • पेमेंट से पहले दोबारा जांचें।
  • बैंक विवरण दर्ज करने से पहले यूआरएल और पेज की सुरक्षा की पुष्टि करें।
  • अनजान ईमेल या मैसेज के लिंक पर क्लिक न करें।
  • ये ठगों का सबसे बड़ा हथियार हैं।
  • पेमेंट का स्क्रीनशॉट रखें।
  • किसी विवाद की स्थिति में यह सबूत का काम करता है।

ऐसे फंसाते हैं हैकर्स

  • पहले किसी लोकप्रिय ब्रांड की तरह दिखने वाली वेबसाइट बनाते हैं।
  • सोशल मीडिया पर भारी डिस्काउंट वाले विज्ञापन चलाते हैं।
  • यूजर जब साइट पर जाकर ऑर्डर करता है, तो पेमेंट लिंक के जरिए कार्ड की जानकारी चुरा ली जाती है।
  • कुछ मामलों में नकली या घटिया प्रोडक्ट भेजकर ठगी की जाती है।

ऑफलाइन बाजार में भी सतर्क रहें

सिर्फ ऑनलाइन ही नहीं, ऑफलाइन बाजार में भी ठग सक्रिय हैं। त्योहारों के समय नकली ब्रांडेड सामान, एक्सपायर्ड उत्पाद, और फर्जी बिलिंग आम हो गई है।

इसलिए:-

  • भरोसेमंद दुकानदार से ही खरीदारी करें।
  • बिल जरूर लें।
  • सामान की पैकिंग और ब्रांड लेबल जांचें।

साइबर पुलिस की चेतावनी

  • राजसमंद साइबर सेल का कहना है कि “जागरूकता ही सबसे बड़ा बचाव है।”
  • यदि आपको कोई संदिग्ध लिंक, मैसेज या ऑफर दिखे तो —
  • उसका स्क्रीनशॉट लेकर सुरक्षित रखें,
  • और तुरंत साइबर हेल्पलाइन नंबर 1930 पर संपर्क करें,
  • या www.cybercrime.gov.in
  • पर शिकायत दर्ज करें।
  • त्योहार की खुशियों में न आने दें ठगी की कड़वाहट
  • दीपावली का अर्थ है खुशियां, रोशनी और विश्वास।
  • एक क्लिक से मिलने वाले ऑफर भले आकर्षक लगें, लेकिन इनमें छिपा खतरा आपकी मेहनत की कमाई को मिनटों में गायब कर सकता है।
  • खरीदारी करते समय सावधानी रखें,
  • विश्वसनीय प्लेटफॉर्म चुनें,
  • और अपने डिजिटल डेटा की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दें।
Published on:
09 Oct 2025 02:17 pm
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