Constable Aarti Pal : शिप्रा नदी के पुल से कार समेत नीचे गिरे टीआई का शव रविवार को मिला। जबकि, सोमवार शाम को एसआई मदनलाल निनामा की बॉडी मिली। लेकिन, आज खबर लिखे जाने तक लेडी कांस्टेबल आरती पाल का कोई सुराग नहीं मिला है। परिवार पर टूटा दुखों का पहाड़।
Constable Aarti Pal :मध्य प्रदेश के उज्जैन में शिप्रा नदी के पुल से वाहन समेत गिरे तीन पुलिसकर्मियों में से अबतक थाना प्रभारी और सब इन्सपेक्टर का शव बरामद किया गया है। लेकिन, इस हादसे का शिकार हुई महिला आरक्षक का हादसे के चौथे दिन मंगलवार को भी कोई सुराग नहीं मिला है। उज्जैन के उन्हेल थाने में कार्यरत महिला आरक्षक आरती पाल मूल रूप से रतलाम की रहने वाली हैं। हादसे की जानकारी लगते ही परिवार सदमें में है। जैसे जैसे समय बढ़ रहा है और बेटी को लेकर कोई जानकारी सामने नहीं आ रही, वैसे-वैसे परिवार की चिंता बढ़ती जा रही है।
शिप्रा नदी में हादसे का शिकार होने वाली जिन आरती पाल का तीन दिन बीत जाने के बाद भी अबतक कोई सुराग नहीं लग सका है, वो महिला पुलिस आरक्षक मूल रूप से रतलाम शहर के अरिहंत परिसर की रहती हैं। आरती के पिता अशोक पाल कलेक्टर कार्यालय से सेवानिवृत हुए हैं और माता शीला पाल गृहिणी हैं। साल 2013 मेंपुलिस सेवा में आई आरती के परिवार में उनका एक छोटा भाई लोकेंद्र 12वीं कक्षा में पढ़ रहा है। हादसे की जानकारी लगने के बाद से परिवार में मातम पसरा हुआ है। मां का कहना है कि, एक-एक पल पहाड़ के समान गुजर रहा है। हम सिर्फ ये उम्मीद लगाए बैठे हैं कि, जल्द कही से खबर आ जाए कि, हमारी बेटी सुरक्षित है।
आरती के चाचा अजय पाल ने बताया कि, सी जानकारी मिली है कि, हादसे का शिकार हुआ वाहन आरती ही चला रही थी। वो अपने परिवार के प्रति इतनी जिम्मेदार थी कि, माता-पिता की सेवा के चलते अबतक विवाह भी नहीं किया था।
चाचा के अनुसार, आरती के एक अन्य भाई जितेंद्र पाल का इसी साल 30 जुलाई को बीमारी के कारण निधन हो गया था। सवा माह का धूप-ध्यान करने आखिरी बार बेटी 5 सितंबर को ही घर आई थी। उस दिन पूरा परिवार एक साथ था। जाते समय उसने घर वालों से कहा था कि, इस बार जल्दी आऊंगी। लेकिन, घर से लौटने के अगले ही दिन इस तरह की दिल दहला देने वाली खबर पुलिस विभाग से आई, जिसने परिवार को झकझोर कर रख दिया और अब बेटी का कुछ पता न चल पाना परिवार पर अनहोनी घटना के संदेह को गहराता जा रहा है। सभी की यही कामना है कि, किसी तरह बेटी के सुरक्षित होने की खबर आ जाए।
आपको बता दें कि, 6 सितंबर शनिवार रात को उज्जैन की शिप्रा नदी के पुल से एक वाहन नदी में गिर गया था। प्रत्यक्षदर्शियों की सूचना पर रात डेढ़ बजे तक रेस्क्यू ऑपरेशन चलाकर वाहन और उसमें सवारों की तलाश की गई पर नदी का बहाव तेज होने के कारण रेस्क्यू रोकना पड़ा। रविवार सुबह 6 बजे दोबारा तलाश शुरु हुई। इसी बीच रेस्क्यू दल समेत पुलिस महकमे में उस समय हड़कंप मच गया, जब शिप्रा पुल से करीब 2 किलोमीटर दूर मिली कार से उन्हेल थाना प्रभारी अशोक शर्मा का शव निकला। बाद में मालूम हुआ कि, बीती रात जो वाहन हादसे का शिकार हुआ है, उसमें टीआई के साथ एसआई मदनलाल निनामा और महिला आरक्षक आरती पाल भी मौजूद थीं।
इस घटना ने पुलिस महकमें को सन्न कर दिया। टीआई के साथ एसआई और महिला आरक्षक होने की पुष्टि होने पर रेस्क्यू ऑपरेशन की रफ्तार बढ़ाई गई, लेकिन रविवार देर रात तक दोनों लापता पुलिसकर्मियों का कोई सुराग नहीं लगा। सोमवार की सुबह से एक बार फिर एसडीआरएफ ने रेस्क्यू शुरु किया तब जाकर शाम को एसआई मदनलाल का शव भी मिल गया। इसके बाद से रेस्क्यू लगातार जारी है, लेकिन अबतक आरक्षक आरती पाल का कोई सुराग नहीं लग सका है। फिलहाल, रेस्क्यू जारी है।
इधर, सोमवरा रात शिप्रा नदी के बड़े पुल से पुलिसकर्मियों कीर गिरने का लाइव वीडियो सामने आया। वीडियो में कार अन्य वाहनों के साथ जाती दिख रही है, लेकिन अचानक ही पुल से नीचे गिर गई। फिलहाल, घटना का वीडियो अब सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।