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पाकिस्तान कैसे बना UNSC अध्यक्ष..क्या भारत पर पड़ सकता है असर?

पाकिस्तान को यूएनएससी की अध्यक्षता मिल गई है। इसके बाद से ही लोगों के मन में कुछ सवाल आ रहे हैं, जैसे कि भारत पर इसका क्या असर पड़ सकता है? आइए जानते हैं इस मामले पर उठ रहे सवालों के जवाब।

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Jul 02, 2025
Pakistan becomes UNSC president, will it affect India? (Photo - Patrika Network)

पाकिस्तान (Pakistan) को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद - यूएनएससी (United Nations Security Council - UNSC) की अध्यक्षता मिल गई है और यह मंगलवार से प्रभाव में आई है। पाकिस्तान इसी साल जनवरी में 193 में से 182 वोट हासिल करते हुए यूएनएससी का अस्थायी सदस्य बना है। यूएनएससी में 15 सदस्य देश हैं, जिनमें से 5 स्थायी और 10 अस्थायी सदस्य हैं। पाकिस्तान को यूएनएससी की अध्यक्षता मिलने के बाद से मन में कुछ सवाल भी आ रहे हैं। आइए जानते हैं उनके जवाब।

◙ पाकिस्तान कैसे बना यूएनएससी का अध्यक्ष?

पाकिस्तान के यूएनएससी का अध्यक्ष बनने से मन में आ रहा सबसे बड़ा सवाल यह है कि आतंकवाद का अड्डा होने के बावजूद आखिर पाकिस्तान को यूएनएससी की अध्यक्षता मिल कैसे गई? इसका जवाब बड़ा ही आसान है। यूएनएससी का हर महीने अध्यक्ष रोटेशन प्रक्रिया के आधार पर बदलता है और रोटेशन में अब पाकिस्तान का नंबर आने से ही उसे अध्यक्षता मिली है।


◙ कब तक रहेगी पाकिस्तान के पास अध्यक्षता?

पाकिस्तान के पास सिर्फ एक महीने के लिए ही यूएनएससी की अध्यक्षता रहेगी। यानी कि सिर्फ जुलाई महीने के लिए ही पाकिस्तान यूएनएससी का अध्यक्ष रहेगा।


◙ अध्यक्ष के तौर पर क्या रहेगा पाकिस्तान का एजेंडा?

यूएनएससी अध्यक्ष के तौर पर पाकिस्तान का क्या एजेंडा रहेगा? पाकिस्तान के एजेंडे में संयुक्त राष्ट्र के उद्देश्य और सिद्धांत, अंतर्राष्ट्रीय कानून का सम्मान और सबको साथ लेकर चलने की प्रतिबद्धता के साथ ही अपनी छवि सुधारना भी शामिल रहेगा। आतंकवाद के संरक्षक के रूप में पाकिस्तान की इंटरनेशनल लेवल पर छवि काफी खराब है, जिसे अब वो सुधारने का प्रयास करेगा। हालांकि इसमें उसे कितनी कामयाबी मिलती है, फिलहाल इस बारे में नहीं कहा जा सकता।


◙ क्या भारत पर पड़ेगा असर?

पाकिस्तान को यूएनएससी की अध्यक्षता मिलने पर मन में यह सवाल आना भी स्वाभाविक है कि क्या इसका भारत (India) पर असर पड़ेगा? अध्यक्षता के दौरान पाकिस्तान 22 जुलाई को विवादों के शांतिपूर्ण समाधान के ज़रिए अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा को बढ़ावा देने पर बहस और 24 जुलाई को संयुक्त राष्ट्र और इस्लामिक सहयोग परिषद के बीच सहयोग के विषय पर दो हस्ताक्षर कार्यक्रम करेगा। इसके अलावा 23 जुलाई को फिलिस्तीन के मुद्दे पर तीन महीनों की खुली बहस की अध्यक्षता भी पाकिस्तान करेगा। इन तीनों कार्यक्रमों के दौरान यह संभव है कि पाकिस्तान, भारत को घेरने के लिए जम्मू-कश्मीर (Jammu and Kashmir) का मुद्दा उठाए। हालांकि इस पर उसे कोई समर्थन मिलने की उम्मीद नहीं जताई जा रही है।

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