Hurricane Melissa Jamaica: हुरिकेन मेलिसा ने जमैका पर 298 किमी/घंटा हवाओं से हमला किया, ब्लैक रिवर में बाढ़ से भारी तबाही हुई।
Hurricane Melissa Jamaica: जमैका पर बुधवार को हरिकेन मेलिसा तूफान (Hurricane Melissa Jamaica) ने भयानक रूप दिखाया। 185 मील प्रति घंटा (लगभग 298 किमी/घंटा) की रफ्तार वाली हवाओं के कारण इमारतें ढह गईं और भारी बारिश से सड़कें नदियां बन गईं। इसमें 13 मौतें हो गईं। ये कैटेगरी 5 का तूफान (Category 5 Storm) कैरेबियन क्षेत्र को हिला रहा है। अमेरिकी नेशनल हरिकेन सेंटर ने इसे 'घातक' करार दिया है, जो जमैका को अब तक का सबसे खतरनाक तूफान रहा है। जमैका कांस्टीबुलरी के वीडियो में ब्लैक रिवर (Black River Flooding) का भयावह नजारा कैद किया गया है। कई जगह पानी भर गया, कारें बह गईं, घरों की दीवारें ढह गईं। मलबा इधर-उधर बिखरा पड़ा है। एक शख्स अभी लापता है। बचाव टीमों ने हेलीकॉप्टर उतारे, लेकिन कई इलाके अभी कटे हुए हैं।
दक्षिणी जमैका में नदियां उफान पर हैं, ऊंचे इलाकों में भूस्खलन का खतरा है। किंग्स्टन में समुद्री लहरें ऊंची इमारतों तक पहुंच रही हैं। मौसम विभाग ने कहा, 40 इंच बारिश और 13 फुट का ज्वार आने वाला है। बिजली-पानी सब गायब, इंटरनेट 30% रह गया। प्रधानमंत्री एंड्र्यू होलनेस ने पूरे देश को आपदा जोन घोषित किया। अस्पतालों में मरीजों को शिफ्ट किया जा रहा है।
मेलिसा अब क्यूबा की तरफ बढ़ रहा है, जहां कैटेगरी 3 बनकर 125 मील/घंटा हवाएं लाएगा। गुरुवार सुबह सैंटियागो डे क्यूबा में उतर सकता है। उसके बाद बहामास का नंबर। वर्ल्ड मीटियोरोलॉजिकल ऑर्गनाइजेशन ने चेताया, 'जमैका के लिए ये सदी का सबसे बुरा हमला।' गर्म समुद्र ने तूफान को इतना ताकतवर बनाया।
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एशिया दौरे के दौरान कहा, 'मानवीय सहायता भेजेंगे।' एयर फोर्स वन से नुकसान पर नजर। जमैका सरकार ने दान के लिए ऑनलाइन पोर्टल खोला। घर-स्कूल सब प्रभावित, लेकिन मौतों की संख्या अब स्थिर। विशेषज्ञ कहते हैं, जलवायु बदलाव से तूफान लंबे हो रहे।
भारत में भी चक्रवात सिलसिला चल रहा है। मेलिसा जैसी तीव्रता ओडिशा या आंध्र को सिखाती है – पहले से अलर्ट रहो। NDMA को मजबूत शेल्टर और चेतावनी सिस्टम अपनाने चाहिए। वैश्विक सहयोग से भारत भी सीखे – जल्दी बचाव और इंफ्रा सुधार।
बहरहाल तूफान बाद पानी दूषित, बीमारियां फैलने का डर। किंग्स्टन में मगरमच्छ बाढ़ से निकल सकते हैं। 1,000 लोग शेल्टर में, लेकिन कई गांव कटे। पर्यावरणविद् चेताते हैं, ये जैव विविधता पर भी असर डालेगा। सरकार ने इमरजेंसी फंड जारी किया।