शादी करने और बच्चे पैदा करने पर प्रतिबंध के अलावा यहां पर पुरुषों और महिलाओं के लिए ड्रेस कोड भी है। जिसमें मिनी स्कर्ट, शॉर्ट्स और स्लीवलेस ड्रेस पर बैन है।
दुनिया में जनसंख्या (Population) को लेकर लगातार चिंता बनी हुई है। साल दर साल इसमें बेशुमार बढ़ोतरी हो रही है। दुनिय़ा का लगभग हर देश अब बढ़ती जनसंख्या से दो-चार हो रहा है लेकिन अभी भी दुनिया में एक जगह ऐसी है जहां पर जनसंख्या बढ़ ही नहीं रही है और उसका कारण है कि वहां बच्चे ही नहीं पैदा हो रहे हैं। वो भी 95 सालों से, जी हां यहां 95 सालों से कोई बच्चा पैदा नहीं हुआ है। अब कई लोग ये जानना चाह रहे हैं कि आखिर ऐसा क्या है इस जगह पर कि यहां बच्चों की जन्मदर शून्य है, तो हम इसका जवाब देते हैं।
पहले तो आपको बता दें कि ये देश है वेटिकन सिटी (Vetican City), जी हां ईसाई समुदाय का सबसे पवित्र देश वेटिकन सिटी। जो दुनिया का सबसे छोटा देश है। इस देश की स्थापना 11 फरवरी 1929 को हुई थी तभी से यहां पर इस तरह के नियम बने हुए हैं। यहां के शासक पोप (Pop) हैं। यहां पर बच्चे पैदा करना पूरी तरह से प्रतिबंधित है और ये प्रतिबंध ईसाई धर्म की धार्मिक मान्यताओं के चलते लगाए गए हैं।
दरअसल वेटिकन सिटी में बड़ी संख्या में पादरी रहते हैं। यहां नवजात बच्चों के लिए अस्पताल भी नहीं है क्योंकि यहां के रहने वाले मुख्यतः पुजारी होते हैं जिन्हें शादी करने की और बच्चे पैदा करने की मनाही होती है। यहां वो पूरी तरह से ब्रह्मचर्य का पालन करते हैं।
शादी करने और बच्चे पैदा करने पर प्रतिबंध के अलावा यहां (Vetican City) पर पुरुषों और महिलाओं के लिए ड्रेस कोड भी है। जिसमें मिनी स्कर्ट, शॉर्ट्स और स्लीवलेस ड्रेस पर बैन है। इसके अलावा यहां की नागरिकता भी हर किसी को नहीं दी जाती। यहां सिर्फ वो लोग रहते हैं जो शहर के भीतर काम करते हैं। वेटिकन सिटी में रहने वाले ज्यादातर लोग टीचर, पत्रकार हैं। ये लोग अपना पूरा जीवन यहां नहीं बिताते। सांसारिक जीवन जीने के लिए ये लोग वेटिकिन सिटी को छोड़कर और कहीं रहने चले जाते हैं। यही वजह है कि महज़ 800 लोगों वाले इस छोटे से देश में सिर्फ 30 महिलाएँ हैं।
बता दें कि वेटिकन सिटी वेटिकन पैलेस (Vetican Palace) के भी काफी फेमस है। जो पोप का घर माना जाता है। यहां की सरकार होली सी रोमन कैथोलिक चर्च होती है। जिसका नेतृत्व रोम के बिशप के तौर पर पोप करते हैं।
हालांकि बीच में ऐसी भी खबरें आई थीं कि कुछ पादरी शादी ना करने वाले इन नियमों को तोड़ते भी हैं। वो शादी कर लेते हैं जिसके बाद यहां बच्चे पैदा हो जाते हैं। जब इन मामलों की जांच की गई तो पता चला कि इनमें से कुछ बच्चे पुजारियों और आम महिलाओं या फिर ननों के थे। जबकि कुछ बच्चे बलात्कार जैसा क्रूर अपराध से हुए थे।