Donald Trump India Tariff Trade Deal : डोनाल्ड ट्रंप ने संकेत दिया है कि भारत पर 25% तक टैरिफ लगाया जा सकता है। अमेरिका और भारत के बीच व्यापार वार्ता कृषि और जीएम उत्पादों को लेकर अटकी है।
Donald Trump India Tariff Trade Deal: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ( Donald Trump )ने हाल ही में भारत के खिलाफ संभावित टैरिफ बढ़ाने का संकेत दिया है। उनका कहना है कि भारत पर 20-25% तक का टैरिफ (Donald Trump India Tariff Trade Deal) लगाया जा सकता है, जो पहले प्रस्तावित 26% से थोड़ा कम होगा। हालांकि, यह अमेरिका के बाकी देशों से ज्यादा है। अमेरिकी राष्ट्रपति का यह बयान भारत और अमेरिका ( America) के बीच व्यापारिक संबंधों पर एक नया दबाव डाल सकता है। अमेरिका ने अब तक अपने व्यापारिक संबंधों को मजबूत करने के लिए पाँच देशों के साथ समझौते किए हैं, जिनमें ब्रिटेन, यूरोपीय संघ (EU), जापान, इंडोनेशिया और वियतनाम शामिल हैं। इन देशों के साथ किए गए व्यापार समझौतों के तहत, 1 अगस्त से इन देशों से आने वाले सामान पर कस्टम ड्यूटी लागू हो रही है। उदाहरण के लिए, ब्रिटेन से आने वाले सामान पर 10%, EU और जापान से आने वाले सामान पर 15%, इंडोनेशिया से 19% और वियतनाम से आने वाले सामान पर 20% टैरिफ लागू होगा।
हालांकि, भारत के साथ अभी तक कोई व्यापार समझौता नहीं हुआ है, लेकिन ट्रंप के बयान से यह स्पष्ट है कि भारत के लिए टैरिफ में वृद्धि हो सकती है। ट्रंप का कहना है, "भारत हमारे अच्छे दोस्त रहा है, लेकिन भारत ने व्यापारिक दृष्टि से अन्य देशों की तुलना में अत्यधिक टैरिफ लगाया है।" ट्रंप ने कहा कि यह अब अस्वीकार्य है और अमेरिका को भारत से उचित व्यापार संबंधों की उम्मीद है।
अमेरिका और भारत के बीच एक द्विपक्षीय व्यापार समझौता बनाने की कोशिश की जा रही है, लेकिन भारत ने कई अहम मुद्दों पर समझौता करने से इनकार कर दिया है। खासकर, भारत ने कृषि और डेयरी उत्पादों पर शुल्क कम करने का प्रस्ताव स्वीकार नहीं किया है। इसके अलावा, भारत ने जीएम (जेनिटिकली मॉडिफाइड) कृषि उत्पादों को भी अपने बाजार में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी है।
अमेरिका और भारत के बीच व्यापार वार्ता में अहम मोड़ आ सकता है, क्योंकि एक अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल अगस्त के आखिरी सप्ताह में भारत दौरा करेगा। अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि जेम्सन ग्रीर का कहना है कि अमेरिका को भारत के साथ व्यापार समझौते के लिए और समय चाहिए। अमेरिका यह जानना चाहता है कि भारत अपने बाजार को कितनी हद तक अमेरिकी उत्पादों के लिए खोलेगा।
भारत के लिए विशेष रूप से कृषि उत्पादों और डेयरी उत्पादों पर शुल्क कम करने में कठिनाई हो सकती है। इसके अलावा, जीएम कृषि उत्पादों को लेकर भारत का रुख कठोर है, जो अमेरिकी अधिकारियों के लिए एक बड़ा मुद्दा बन चुका है।
भारत और अमेरिका के व्यापारिक रिश्ते में आने वाले महीनों में और जटिलताएं आ सकती हैं। जहां एक ओर ट्रंप प्रशासन ने टैरिफ बढ़ाने की धमकी दी है, वहीं भारत अपनी घरेलू नीति और आर्थिक सुरक्षा को बनाए रखने की कोशिश कर रहा है। यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या दोनों देश आपसी हितों को संतुलित करने में सफल होते हैं या यह व्यापार संघर्ष और भी बढ़ेगा।
टैरिफ युद्ध का खतरा – क्या अमेरिका के साथ व्यापार संबंधों में तनाव बढ़ेगा?
कृषि और डेयरी उत्पादों पर सहमति – क्या भारत अपने कृषि उत्पादों के लिए अमेरिकी बाजार खोल पाएगा?
भारत की घरेलू सुरक्षा नीति – क्या भारत अपनी आर्थिक सुरक्षा को प्राथमिकता देगा या व्यापारिक समझौतों को?
क्या आपको लगता है कि भारत को इस व्यापार संघर्ष में एक नई रणनीति अपनानी चाहिए? या फिर यह तनाव सिर्फ अस्थायी है ?