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परिवहन अधिकारी का आरोप, बलिया के डीएम ने मुझे कॉलर पकड़कर घसीटा, दिया इस्तीफा

जिलाधिकारी ने एआरएम के खिलाफ कार्रवाई के लिये परिवहन निगम के एमडी को लिखा पत्र, कैदियों को शिफ्ट करने के लिये समय से बसें न उपलब्ध कराने का लगाया आरोप।

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DM Ballia

डीएम बलिया

बलिया. यूपी की बलिया जेल में पानी भरने के बाद कैदियों को शिफ्ट करने की कार्रवाई के पहले जिलाधिकारी और परिवहन निगम के सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक के बीच विवाद हो गया। क्षेत्रीय प्रबंधक बिन्दू प्रसाद का आरोप है कि जिलाधिकारी ने उनके कार्यालय में घुसकर उनके साथ अभद्रता की, उनका कॉलर पकड़कर घसीटा। इससे आहत होकर उन्होंने इस्तीफा दे दिया। उन्होंने बताया कि अपना त्यागपत्र मैनेजिंग डायरेक्टर को भेज दिया है। बात इतने पर ही नहीं खत्म हुई इस विवाद के बाद जिलाधिकारी भवानी सिंह खरगौत ने परिवहन निगम के एमडी को पत्र लिखकर एआरएम पर कार्रवाई करने की मांग की है। उन्होंने एआरएम पर समय से बसें न उपलब्ध कराने का आरोप लगाया है। अब इस मामले में यूपी एसआरटीसी के प्रबंधक ने रिपोर्ट मांग ली है।

सोमवार को मामला कुछ इस तरह हुआ कि बाढ़ से जलमग्न हुए बलिया जेल के कैदियों को आजमगढ़ और अंबेडकर नगर की जेलों में शिफ्ट करना था। कैदियों को ले जाने के लिये बसों का इंतजाम करने के संबंध में जिला प्रशासन ने एआरएम को पत्र लिखा था। जिलाधिकारी की ओर से एआरएम बिन्दू प्रसाद पर बसें न उपलब्ध कराने का आरोप लगाया। उनका यह भी कहना था कि बात कैदियों को शिफ्ट करने की थी और समय पर रवानगी न होने से कानून व्यवस्था पर प्रभाव पड़ सकता था। दूसरी तरफ बिन्दू प्रसाद ने डीएम के आरोपों का खंडन करते हुए कहा है कि 15 बसें मांगी गयी थीं, जिन्हें समय से भेजवा दिया गया था। डीएम ने एआरएम के खिलाफ परिवहन निगम के एमडी को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने पत्र में इस बात का उल्लेख किया है कि एआरएम ने सीयूजी नंबर पर कॉल तक नहीं उठाया। इसके बाद जिलाधिकारी उन्हें अपने वाहन से लेकर जेल परिसर आए।

उधर एआरएम बिन्दू प्रसाद ने अपने बयान में जिलाधिकारी पर आरोप लगाते हुए अभद्रता से आहत होकर परिवहन निगम के एमडी को इस्तीफा भेज दिया। इस्तीफे में उन्होंने आरोप लगाया है कि डीएम के पत्र के आधार पर 15 बसें जेल परिसर में पहुंचवा दी गयी थीं। वह खुद बसें वहां खड़ा कराकर वापस लौटे थे। आरोप लगाया कि दोपहर को जिलाधिकारी उनके कार्यालय आए, कॉलर पकड़कर घसीटते हुए ऑफिस से बाहर निकाला और अपनी गाड़ी में जिला जेल ले गए। उन्होंने जातिसूचक शब्दों के इस्तेमाल का भी आरोप लगाया है।

उधर एआरएम बिन्दू प्रसाद का इस्तीफा मिलते ही परिवहन निगम के एमडी राजशेखर की ओर से प्रशासन से तथ्यात्मक रिपोर्ट मांगी गयी है। मीडिया की खबरों के मुताबिक मुख्यालय के निर्देश पर एआरएम आजमगढ़ पीके तिवारी और नोडल ऑफिसर अतुल त्रिपाठी बलिया पहुंच गए। उन लोगों ने रोडवेज कर्मचारियों के अलावा जिलाधिकारी के यहां भी गए। हालांकि दोनों अधिकारी मामले पर कुछ बोलने से बचते रहे और कहा कि पूरे मामले को एमडी स्वयं देख रहे हैं। अब देखना यह होगा कि दो अधिकारियों के बीच का यह विवाद क्या रूप लेता है।

By Amit Kumar