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दंत चिकित्सक, ओरल व मैक्सिलोफेशियल सर्जन बाल प्रत्यारोपण करने के लिए योग्य नहीं

इस अधिसूचना का उद्देश्य कॉस्मेटिक और बाल प्रत्यारोपण प्रक्रियाएं प्रदान करने वाले अयोग्य चिकित्सकों की बढ़ती प्रवृत्ति पर अंकुश लगाना है। ऐसी प्रक्रियाओं में उच्च स्तर की सर्जिकल सटीकता की आवश्यकता होती है। केवल प्लास्टिक सर्जरी या त्वचाविज्ञान में औपचारिक योग्यता वाले चिकित्सक ही बाल प्रत्यारोपण और सौंदर्य सर्जरी करने के लिए सक्षम हैं।

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Hair Transplant

Hair Transplant

-केएमसी ने एडवाइजरी जारी कर चेताया.

कर्नाटक मेडिकल काउंसिल Karnataka Medical Council (केएमसी) ने एक एडवाइजरी जारी कर जनता को आगाह किया है कि दंत चिकित्सक, डेंटल सर्जन और ओरल व मैक्सिलोफेशियल सर्जन हेयर ट्रांसप्लांट Hair Transplant या सौंदर्य संबंधी प्रक्रियाएं करने के लिए अधिकृत नहीं हैं। केएमसी ने नैदानिक प्रतिष्ठानों को चेतावनी दी है कि अयोग्य कर्मियों को बाल प्रत्यारोपण या कॉस्मेटिक प्रक्रियाएं करने की अनुमति देने पर सख्त कानूनी परिणाम भुगतने होंगे।

विशेष सर्जिकल प्रशिक्षण

राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग National Medical Commission (एनएमसी) ने तेलंगाना मेडिकल काउंसिल को स्पष्ट किया है कि इस तरह के हस्तक्षेपों के लिए विशेष सर्जिकल प्रशिक्षण की आवश्यकता होती है, जो दंत चिकित्सा पाठ्यक्रम का हिस्सा नहीं है। इस आधार पर केएमसी ने भी एडवाइजरी जारी की है।

एनएमसी के दिशा-निर्देशों के अनुसार हेयर ट्रांसप्लांट केवल उन्हीं लोगों द्वारा किया जाना चाहिए, जिनके पास एमसीएच/डीएनबी प्लास्टिक सर्जरी या एमडी/डीएनबी त्वचाविज्ञान जैसी सर्जिकल ग्रूमिंग हो और त्वचा संबंधी सर्जिकल प्रक्रियाओं में पर्याप्त प्रशिक्षण हो। इन दोनों विशेषज्ञताओं में बाल प्रत्यारोपण को उनके प्रशिक्षण पाठ्यक्रम में एक मुख्य विषय के रूप में शामिल किया गया है। इसी प्रकार, सौंदर्य प्रक्रियाओं की अनुमति केवल उन पंजीकृत चिकित्सा पेशेवर (आरएमपी) को है, जिन्होंने अपनी औपचारिक शिक्षा के हिस्से के रूप में इस तरह के हस्तक्षेपों में पर्याप्त प्रशिक्षण प्राप्त किया है।

मुख्य विषय नहीं

इन प्रावधानों पर जोर देते हुए, केएमसी ने आम जनता को सूचित किया है कि दंत चिकित्सकों (बीडीएस), दंत शल्य चिकित्सकों और ओरल एवं मैक्सिलोफेशियल शल्य चिकित्सकों (एमडीएस) के पाठ्यक्रम में ये विशेषज्ञताएं मुख्य विषय के रूप में शामिल नहीं हैं। इसलिए उनके पास इन प्रक्रियाओं को करने के लिए औपचारिक शल्य चिकित्सा ज्ञान और प्रशिक्षण का अभाव है।

अंकुश लगाना उद्देश्य

इंडियन एसोसिएशन ऑफ डर्मेटोलॉजिस्ट्स, वेनेरोलॉजिस्ट्स एंड लेप्रोलॉजिस्ट्स (आइएडीवीएल) की कर्नाटक शाखा के अध्यक्ष मंजूनाथ हुलमानी ने कहा कि इस अधिसूचना का उद्देश्य कॉस्मेटिक और बाल प्रत्यारोपण प्रक्रियाएं प्रदान करने वाले अयोग्य चिकित्सकों की बढ़ती प्रवृत्ति पर अंकुश लगाना है। ऐसी प्रक्रियाओं में उच्च स्तर की सर्जिकल सटीकता की आवश्यकता होती है। केवल प्लास्टिक सर्जरी या त्वचाविज्ञान में औपचारिक योग्यता वाले चिकित्सक ही बाल प्रत्यारोपण और सौंदर्य सर्जरी करने के लिए सक्षम हैं।