Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

सरकार कर रही गोविंद राव समिति की रिपोर्ट का इंतजार : मुख्यमंत्री सिद्धरामय्या

जयदेव इंस्टीट्यूट ऑफ कार्डियोवैस्कुलर साइंसेज के नवनिर्मित भवन का उद्घाटन करते हुए सिद्धरामय्या ने कहा कि दो दशक पहले सरकार ने क्षेत्रीय असंतुलन के निवारण के लिए डॉ. डी. एन. नंजुंदप्पा की अध्यक्षता में एक उच्चाधिकार प्राप्त समिति का गठन किया था। समिति ने वर्ष 2002 में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की।

2 min read
Google source verification
cm-report

कलबुर्गी. मुख्यमंत्री सिद्धरामय्या ने कहा कि राज्‍य सरकार एक क्षेत्र में अधिक विकास और अन्य क्षेत्रों की उपेक्षा के बजाय राज्य के समग्र विकास के लिए प्रतिबद्ध है। रविवार को जयदेव इंस्टीट्यूट ऑफ कार्डियोवैस्कुलर साइंसेज के नवनिर्मित भवन का उद्घाटन करते हुए सिद्धरामय्या ने कहा कि दो दशक पहले सरकार ने क्षेत्रीय असंतुलन के निवारण के लिए डॉ. डी. एन. नंजुंदप्पा की अध्यक्षता में एक उच्चाधिकार प्राप्त समिति का गठन किया था। समिति ने वर्ष 2002 में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की।

रिपोर्ट में नंजुंदप्पा ने कहा कि राज्य के 175 तालुकों में से 114 तालुक पिछड़े हैं। इन 114 तालुकों में से 39 सबसे पिछड़े, 40 अधिक पिछड़े और 35 पिछड़े हैं। सिद्धरामय्या ने कहा कि 39 अधिक पिछड़े तालुकों में से 21 तालुक कल्याण कर्नाटक क्षेत्र के हैं।

यह रिपोर्ट दो दशक से भी पहले दी गई थी और उस समय 175 तालुक थे और अब तालुकों की संख्या बढ़कर 240 हो गई है। कई तालुक विकसित हो चुके हैं।

कितने तालुक विकसित हुए हैं और कितने तालुक अभी भी पिछड़े हैं, इसका अध्ययन करने के लिए सरकार ने गोविंद राव की अध्यक्षता में एक समिति गठित की है और समिति को अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए छह महीने का समय दिया गया है।

समिति इस बात का अध्ययन कर रही है कि डॉ. नंजुंदप्पा समिति की रिपोर्ट का कितना कार्यान्वयन हुआ है, कितने तालुक अभी भी पिछड़े हैं और उन तालुकों के विकास के लिए क्या कदम उठाए जाने चाहिए।

सिद्धरामय्या ने कहा कि सरकार गोविंद राव समिति द्वारा दी जाने वाली रिपोर्ट का अध्ययन करेगी और राज्य के समग्र विकास के लिए इसे लागू करने पर निर्णय लेगी।

कलबुर्गी में निम्हांस की शाखा स्थापित करने के लिए राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे के अनुरोध पर मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में उपस्थित चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. शरणप्रकाश पाटिल से कलबुर्गी और मैसूरु में निम्हांस की शाखा स्थापित करने के लिए प्रस्ताव भेजने को कहा।

कलबुर्गी में मधुमेह विज्ञान की इकाई स्थापित करने की खरगे की एक अन्य मांग पर मुख्यमंत्री ने आश्वासन दिया कि ऐसा किया जा सकता है। गुलबर्गा विश्वविद्यालय में पाठ्यक्रम बढ़ाने और रिक्त शिक्षण पदों को भरने की अनुमति देने की एक अन्य मांग पर मुख्यमंत्री ने कहा कि वे इस मामले का अध्ययन करेंगे।