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कोजाराम हत्याकांड : पिता तड़प रहा था और बेटी चिल्ला रही थी…पिता को बचा लो, घटना का वीडियो आया सामने, देखकर खड़े हुए रोंगटे

Barmer Dalit Man's Killing: अंतिम वक्त..पिता तड़प रहा था और एक बेटी चिल्ला रही थी। जोर-जोर से बार-बार कह रही थी कि उसके पिता को बचा लो, वो दम तोड़ रहे हैं। वीडियो देखकर ही रोंगटे खड़े हो जाएं।

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पत्रिका न्यूज़ नेटवर्क/ बाड़मेर. Barmer Dalit Man's Killing: अंतिम वक्त..पिता तड़प रहा था और एक बेटी चिल्ला रही थी। जोर-जोर से बार-बार कह रही थी कि उसके पिता को बचा लो, वो दम तोड़ रहे हैं। वीडियो देखकर ही रोंगटे खड़े हो जाएं। बेटी की पुकार सुनने के बाद लोग पिता को बाड़मेर तो ले गए लेकिन बीच रास्ते में ही उसने दम तोड़ दिया। लाठियों-सरियों से पीट-पीटकर पिता की मौत को सामने देखने वाली बेटियां अब सिसक-सिसक कर 36 घंटे से इतनी बार रोई हैैं कि आंसू सूूख रहे हैं। वे बार-बार सवाल करती है कि, कब वापस आएंगे...।

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कोजाराम मेहनत-मजदूरी करके परिवार का गुजारा करता था। एक बेटा जयपुर में था और बेटियां और परिवार गांव में ही। पड़ोस वालों से विवाद इस कदर हो गया कि कोजाराम की आधी उम्र तो मुकदमे करने में ही गुजर गई। मजदूरी के साथ उसको इस बात की चिंता हर समय खाए जाती थी। उसने अब तक 7 मुकदमे किए। हर बार एक ही बात दोहराई कि वह और उसका परिवार सुरक्षित नहीं है। इस बार भी अंतिम बार 15 मार्च को पुलिस अधीक्षक से मिला तब भी उसने कहा कि,साहब मुझे मार देंगे। एसपी ने थानाधिकारी को मामला दर्ज करने के निर्देश दिए थे। मामला दर्ज तो हुआ पर कोजाराम पर प्राणघातक हमला हुआ।

दो सदस्यों नौकरी व एक करोड़ की मांग
बाड़मेर. असाड़ी गांव में बुधवार सुबह कोजाराम मेघवाल की हत्या के बाद गुरुवार देर रात तक गतिरोध बना रहा। जिला अस्पताल की मोर्चरी के बाहर मृतक के परिजन व एक समुदाय का धरना दूसरे दिन भी जारी रहा। एससीएसटी एकता मंच ने परिवार के दो सदस्यों को नौकरी व एक करोड़ रुपए मुआवजा देने सहित छह मांगे रखी और मांगें नहीं माने जाने तक शव उठाने से इनकार कर दिया। वहां भारी पुलिस जाप्ता तैनात किया गया है।

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परिवार की फिक्र...अब हमारा क्या होगा?
कोजाराम के माता-पिता का देहांत पहले ही हो चुका है। मृतक मजदूरी करके परिवार का पालन-पोषण कर रहा था। कोजाराम के परिवार में उसकी पत्नी धूड़ी देवी है। बड़ा बेटे इन्द्राराम ने अभी कॉलेज में प्रवेश लिया है। बेटी ममता, मनीषा, धाई, चूकी है और सबसे छोटा बेटा प्रवीण अभी दूसरी कक्षा में है। कोजाराम परिवार के भरण-पोषण की जंग तो लड़ता ही था, साथ ही सुरक्षा को लेकर भी उसने पूरी उम्र गुजार दी। बेटा इन्द्राराम धरने पर बैठकर पिता के लिए न्याय मांग रहा है।


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