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राजस्थान चुनाव 2023: भाषण का अभ्यास कर रहे नेताजी, इवेंट कंपनियां सिखा रहीं गुर

Rajasthan Election 2023 : दीपावली में मतदाताओं की व्यस्तता और टिकट वितरण में देरी से चुनाव में कम समय बचने से अधिकतर प्रत्याशी प्रचार-प्रसार के लिए इवेंट कंपनियों का सहारा ले रहे हैं।

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Rajasthan Assembly Election 2023 : दीपावली में मतदाताओं की व्यस्तता और टिकट वितरण में देरी से चुनाव में कम समय बचने से अधिकतर प्रत्याशी प्रचार-प्रसार के लिए इवेंट कंपनियों का सहारा ले रहे हैं। चुनाव प्रचार में नेताजी नपे-तुले शब्दों में भाषण दे रहे हैं। हर कार्यक्रम में नेताजी की स्क्रिप्ट बदल जाती है। वजह साफ है कि इवेंट कंपनियों ने नेताजी के चुनाव का मैनेजमेंट संभाल रखा है। भरतपुर, जोधपुर, कोटा, उदयपुर, जयपुर, अजमेर और बीकानेर संभाग में तमाम प्रत्याशियों ने चुनाव के लिए इवेंट कंपनियां हायर की हैं। चुनाव प्रचार पर निकलने से पहलेे नेताजी इवेंट मैनेजमेंट संभाल रहे लोगों के लिखे भाषण का अभ्यास करते हैं। कई बार इवेंट कंपनियों की चूक से नेताजी गलत आंकड़े भी बोल जाते हैं। इवेंट कंपनियों की हिदायत है कि जितना हो सके हेट स्पीच से बचना है। ताकि एक वर्ग को खुश करने के चक्कर में दूसरा वर्ग नाराज न होने पाए। इसके लिए बाकायदा आईटी प्रोफेशनल वीडियो और फोटो एडिट कर सोशल मीडिया पर कार्यक्रमों के भाषण वायरल कर रहे हैं। इवेंट कंपनियां प्लान कर रही है कि दीपावली में जनता के बीच किस तरह पहुंचा जाए। क्योंकि जनता त्योहार के बीच में राजनीतिक शोरगुल पसंद नहीं करती है।

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रामायण...भागवत और बृजभाषा का समावेश
नोएडा की एक इवेंट कंपनी के सुपरवाइजर नरेश त्रिपाठी बताते हैं कि नेताओं के भाषण में अच्छे साहित्यकारों के माध्यम से इनपुट लेकर रामायण, भागवत और स्थानीय बृजभाषा का समावेश किया जाता है। यदि मुस्लिम इलाका है तो वहां उर्दू शब्द शामिल होते हैं। मतलब साफ है कि मतदाता की पसंद के हिसाब से भाषण तैयार होते हैं।

युवाओं को नेताजी केभाषण में कम रुचि
युवाओं को नेताजी के भाषण में कम रुचि दिखती है। इसके लिए इवेंट कंपनियों ने युवाओं के लिए सोशल मीडिया प्लान तैयार किए हैं, क्योंकि कार्यक्रम में युवा कम नजर आते हैं, जो आते भी हैं उनकी कई डिमांड होती हैं। युवाओं को लुभाने के लिए नेताजी के भाषण में राष्ट्रीय मुद्दों को भी शामिल किया जा रहा है। भाषण में शिक्षा व रोजगार पर फोकस किया जा रहा है।

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प्रतिद्वंदी को घेरने की कोशिश: आगरा की इवेंट कंपनी के प्रबंधक प्रफुल्ल.बी. सरोज कहते हैं, भरतपुर में तीन-चार प्रत्याशियों ने आधा काम कंपनी को दिया है। इसमें रोड शो, सभा, दौरे का मैनेजमेंट शामिल है। हर कार्यक्रम के हिसाब से भाषण की स्क्रिप्ट लिखनी होती है, जो कि स्थानीय भाषा, दल और वर्ग के हिसाब से होती है। प्रतिद्वंदी पार्टी के प्रत्याशी के खिलाफ भ्रष्टाचार या चरित्र से जुड़ा मामला होता है तो स्क्रिप्ट में शामिल किया जाता है।