
गुलाम अली, आतिफ समेत 25 पाकिस्तानी गायकों पर AV ने लगाया बैन, अब रेडियो पर नहीं गूंजते इनके नगमे, जानिए क्यों
दाक्षी साहू @भिलाई. अपने सटीक समय और बुलंद स्वदेशी आवाज के लिए मशहूर आकाशवाणी (Akashwani) ने पुलवामा आतंकी हमले (Terror attack) के बाद पाकिस्तानी गायकों (Pakistani singer) को ना कह दिया है। सख्त लहजे में एक दो नहीं बल्कि 25 से ज्यादा पाकिस्तानी गायकों के लिए दरवाजा बंद कर दिया है। अब आकाशवाणी रायपुर के किसी भी कार्यक्रम में पाकिस्तानी गायकों (Pakistani singer Ban) के गीत नहीं बजते। यहां तक कि म्यूजिक लाइब्रेरी से भी इन सिंगरों के कैसेट्स को हटा दिया गया है। यह सिलसिला रायपुर रेडियो (Radio) स्टेशन में पिछले कई महीनों से चल रहा है। जिसका खुलासा श्रोताओं की फरमाइश के बाद भी गीत नहीं बजने पर हुआ। रेडियो श्रोता संघ से जुड़े श्रोताओं ने जब कारण पूछा तो उन्हें बताया गया कि आदेश दिल्ली से आया है। इसलिए पाकिस्तानी (Pakistan) गायकों के गाने नहीं बजाए जा रहे।
आतिफ से लेकर गुलाम अली तक आकाशवाणी की प्रतिबंधित सूची में
आकाशवाणी रायपुर में जिन 25 पाकिस्तानी गायकों को अघोषित रूप से प्रतिबंधित किया गया है, उनमें प्रसिद्ध पाश्र्व गायक आतिफ असलफ (Atif aslam) और गजल गायक गुलाम अली (Gulam Ali) का नाम भी शामिल है। दुनिया भर में अपने सूफी अंदाज के लिए जाने जानी वाली आबिदा परवीन (Abida parveen) और राहत फतेह अली खान (Rahat fateh ali khan) के गाने (Songs) अब श्रोताओं के अनुरोध के बाद भी रेडियो पर नहीं बजते। इसके अलावा गजल गायक मेंहदी हसन (mehdi hassan), नुसरत फतेह अली खान, असद अमानत अली खान, नूरजहां, इकबाल बानो, ताहिरा सैय्यद जैसे फनकार की आवाज आकाशवाणी रेडियो में नहीं सुनाई देती। उद्घोषक और नैमित्तक कंपीयर्स भी सूची में चिन्हित किसी भी पाकिस्तानी (Pakistan) गायक के गाने अपने कार्यक्रम में नहीं बजाते।
पुलवामा हमले के बाद एआईसीडब्ल्यूए (AICWA) पहले ही लगा चुका प्रतिबंध
इस साल 14 फरवरी को जम्मू कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी (Pulwama terror attack) हमले के बाद ऑल इंडिया सिने वर्कर्स एसोसिएशन ने पाकिस्तानी कलाकारों (pakistani artist) को भारत (India) में बैन कर दिया है। आतंकी हमले ( terror attack) के विरोध में एआईसीडब्ल्यूए (AICWA) ने पाकिस्तानी कलाकारों (pakistani artist) पर सख्त तेवर दिखाए। जिसके बाद से यह प्रतिबंध कायम है। एआईसीडब्ल्यूए ने देशभर में बयान जारी करते हुए कहा था कि भारत में अब पाकिस्तानी कलाकारों के लिए कोई जगह नहीं है। इस कदम के जरिए पुलवामा हमले में शहीद 45 जवानों को श्रद्धांजलि देने का प्रयास किया गया था। पुलवामा के पहले उरी आतंंकी हमले के बाद भी भारत में पाकिस्तानी कलाकारों पर प्रतिबंध लगाने की मांग देशभर में उठी थी। (Bhilai news)
श्रेता संघ को नहीं एतराज
पाकिस्तानी गायकों के गाने आकाशवाणी रायपुर(Akashwani Raipur) में नहीं बजने पर श्रोताओं ने कहा कि उन्हें इस बात से कोई एतराज नहीं है। रेडियो (Radio) श्रोता संघ के वरिष्ठ सदस्य दुर्ग निवासी संजय साहू, शिव चंद्राकर और भगवान चंद्राकर ने बताया कि पिछले तीन-चार महीने से रेडियो (Radio) पर पाकिस्तानी गायकों (Pakstini singer) के गाने नहीं सुनाए जा रहे है। पत्र लिखकर कार्यक्रम अधिकारी से पूछा गया तो उन्होंने आदेश दिल्ली से आने की बात बताई। संजय साहू ने कहा कि संस्था के निर्णय का प्रत्येक श्रोता सम्मान करते हैं। अब भारतीय कलाकारों (Indian Artist) के गीतों को प्राथमिकता मिल रही यह सभी श्रेताओं के लिए सम्मान की बात है। (Bhilai news)
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Published on:
11 Jul 2019 11:59 am
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