
Farmers' hopes shattered due to continuous rain, maize, green gram and chana crops ruined, cotton also suffered losses
भीलवाड़ा जिले में बरसात का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा। जरूरत से ज्यादा हुई बरसात ने किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है। जिले में खरीफ सीजन के तहत 3.73 लाख हैक्टेयर से अधिक खेतों में चावल, ज्वार, बाजरा, मक्का, तिल, मूंगफली, सोयाबीन, कपास, ग्वार, मूंग, मोठ, उड़द, चवला की बुवाई हुई थी। लेकिन अब लगातार हो रही बारिश ने इन फसलों को गहरी चोट पहुंचाई है। बरसाती पानी खेतों में भर जाने से मक्का व उड़द में सबसे अधिक खराबा हुआ है। इनके अलावा सभी फसले प्रभावित हुई हैं। अगेती बुवाई वाले खेतों में तो हालात और भी खराब हैं। जिन पौधों में पहले ही फलियां लग चुकी थीं, वे पूरी तरह सड़ चुकी हैं। चंवले का दाना नमी के कारण अंकुरित हो रहा है, वहीं मूंग की सूखी फलियों का दाना दागिल होकर बेकार हो गया है। अब खेतों में कपास में भी नुकसान होना शुरू हो गया है। किसानों का कहना है कि उनकी पूरी मेहनत और लागत डूब चुकी हैं। जिले के सभी उपखंड क्षेत्रों से नुकसान की खबरें सामने आ रही हैं। खेतों में पानी भरा रहने से मूंगफली और कपास पर भी असर पड़ रहा है। किसान अब आसमान की ओर टकटकी लगाए बैठे हैं कि कब मौसम साफ होगा। जिले में अब तक 1 लाख 7 हजार हैक्टर में फसलों में खराबा हुआ है। इनमें 30 प्रतिशत से कम 56 हजार 800 हैक्टेयर, 30 से 50 प्रतिशत खराब में 32 हजार 800 हैक्टेयर, 50 से 75 प्रतिशत तक में 16 हजार 800 हैक्टेयर तथा 75 से 100 प्रतिशत में 400 हैक्टेयर में खराबा होने की रिपोर्ट सामने आई है।
कृषि अधिकारी का कहना है कि लगातार हो रही बरसात व खेतों में पानी भर जाने से सबसे ज्यादा नुकसान मक्का, मूंगफली, उड़द व चंवला की फसल को हुआ है। मूंग व चंवला में लगी फलियां जल्दी सूख जाती है। लगातार बरसात से सूखी हुई फलियों का दाना दागिल होकर काला पड़ जाता है। चंवले का सूखा दाना अंकुरित हो जाने से खराब हो जाता है। कपास की फसल भी ज्यादा बरसात से खराब हो जाती है।
फसल ने कंगाल कर दिया
कांदा के किसान सुरेश जाट ने कहा कि बरसात ने फसल बर्बाद कर दी। सांखड़ा के किसान रामचंद्र ने बताया कि बाजरा, चंवला और मूंग की पूरी फसल चौपट हो गई। ग्वार में फाल ही नहीं आए। बाजरे की कड़बी भी पसरने लगी है। महिला किसान भंवरी देवी ने कहा ‘लावणी तो कर ली, लेकिन खलिहान में रखे बाजरे के सींटे ही खराब हो रहे हैं। मूंग गलकर सड़ गई।
मूंग, उडद व मक्का में खराबा
लगातार बारिश से मूंग, उड़द व मक्का में ज्यादा खराबा हुआ है। खराब हुई खरीफ की सभी फसलों की गिरदावरी चल रही है। जिले में कितना खराबा हुआ है, इसका आंकड़ा राजस्व विभाग बता सकता है। मुआवजा के लिए भी उपखंड अधिकारी जानकारी दे सकते है।
विनोदकुमार जैन, संयुक्त निदेशक, कृषि भीलवाड़ा
Published on:
06 Sept 2025 10:02 pm
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