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महंत खड़ेश्वरी महाराज का निधन

locationभीलवाड़ाPublished: May 16, 2021 08:33:25 am

Submitted by:

Suresh Jain

1970 में भीलवाड़ा आए, मेवाड़ मिल के सामने एक पैर पर खड़े रहे थे

महंत खड़ेश्वरी महाराज का निधन

महंत खड़ेश्वरी महाराज का निधन

भीलवाड़ा।
दाता पायरा आश्रम के वयोवृद्ध महंत खड़ेश्वरी महाराज का शुक्रवार शाम निधन हो गया। वे पिछले कई दिनों से अस्वस्थ चल रहे थे। शुक्रवार शाम अचानक उनकी तबियत बहुत ज्यादा बिगड़ गई। उन्हें भीलवाड़ा के अरिहन्त अस्पताल लाया गया, जहां कुछ देर बाद उनका निधन हो गया। आश्रम परिसर में ही शनिवार सुबह विधि विधान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा। खड़ेश्वरी महाराज के निधन से उनके अनुयायियों में शोक व्याप्त हो गया। देर रात उनके भक्त अंतिम दर्शन के लिए आश्रम पहुंच रहे थे। खड़ेश्वरी महाराज मूलत: उत्तर प्रदेश के रहने वाले थे। वे १९७० में भीलवाड़ा आए थे। यहां मेवाड़ मिल के सामने वर्षों तक एक पांव पर खड़े रहे थे।
५० साल पहले आए थे
उनके अनुयायी तेजसिंह व सुशील नुवाल ने बताया कि १० अक्टूबर १९७० को खड़ेश्वर महाराज का भीलवाड़ा आगमन हुआ था। उस समय वे उज्जैन कुंभ में जा रहे थे, लेकिन विश्राम के लिए महाराज अजमेर पुलिया स्थित मेवाड़ मिल के सामने पीपल के पेड़ के नीचे रूके। यहां भक्तों व श्रमिकों ने महाराज के लिए पेड़ के नीचे झूला रात्रि विश्राम के लिए लगाया। इसके बाद भक्तों के आग्रह पर महाराज ने अस्थाई विश्राम को स्थाई निवास में बदल दिया। महाराज ने इसी स्थान पर बरसों तक एक पैर पर खड़े रहकर मौनव्रत धारण किया और फलाहारी रहकर वृंदावन धाम में राधागोविंद मंदिर व आश्रम का निर्माण करवाया।
अश्वमेघ यज्ञ करवाया
उन्होंने वर्ष 2002 में भीलवाड़ा के आसींद में गुर्जरों के अन्तरराष्ट्रीय धर्म स्थल सवाईभोज स्थान पर 1108 कुण्डीय अश्वमेघ यज्ञ व राज सूर्ययज्ञ करवाया। अश्वमेघ यज्ञ की पुर्णाहूति पर महाराज ने भक्तों के आग्रह पर बैठना स्वीकार किया, तब से वे बैठने लगे। इसके बाद महाराज ने दाता पायरा में आश्रम का निर्माण करवाया।
शिखर मंदिर का निर्माणखड़ेश्वरी महाराज ने मेवाड़ मिल के सामने शिखर मंदिर का निर्माण करवाया। यहां ब्रम्हा, विष्णु, महेश की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा करवाई। महाराज की प्रेरणा से वर्ष 2009 में हरणी महादेव में 1000 कुण्डीय श्रीराम महायज्ञ हुआ, जो अब तक विशाल कार्यक्रम था। उन्होंने सांवलिया सेठ मण्डपिया (चित्तौडग़ढ़) में में सप्त महायज्ञ का भी आयोजन करवाया।
खड़ेश्वरी के निधन पर शोक व्यक्त
पंजाब के राज्यपाल वीपी सिंह बदनोर ने खड़ेश्वरी महाराज के निधन पर शोक व्यक्त किया। उन्होंने कहाकि ये अपूरणीय क्षति है, जिसे कभी पुरा नहीं किया जा सकेगा। वह जाने माने संतों में से थे। इसी प्रकार सांसद सुभाष चंद्र बहेडिय़ा, विधायक कैलाश मेघवाल, वि_ल शंकर अवस्थी, गोपी मीणा, गोपाल खंडेलवाल व जब्बर सिंह सांखला, जिला प्रमुख बरजी बाई भील, भाजपा जिलाध्यक्ष लादू लाल तेली व सभापति राकेश पाठक आदि ने शोक व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि यह जिला ही नहीं अपितु पूरे मेवाड़ के लिए अपूरणीय क्षति है। आम आदमी पार्टी जिलाध्यक्ष रणजीत सिंह कारोही ने भी शोक जताया।
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