
कोठारी पुलिया में छेद की रिपोर्ट बंद लिफाफे में मिली
भीलवाड़ा. कोठारी नदी पर करीब तेरह करोड की लागत से तैयार हो रहे पुलिया में छेद के मामले की जांच रिपोर्ट नगर विकास न्यास को मिल गई है। मालवीय नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमएनआईटी) ने जांच रिपोर्ट बंद लिफाफे में न्यास को भेजी है। निर्माणाधीन पुलिया के मामले में लापरवाही किसकी रही इसे लेकर बुधवार को संभवतया लिफाफा खुलने पर कारणों का पता चलेगा। उसी के बाद जिम्मेदारी तय होगी। लिफाफा मिलने के बाद निर्माणाधीन पुलिया से जुड़े अफसरों की धुकधुकी बढ़ गई है।
यह पुलिया गत 2 दिसम्बर को क्षतिग्रस्त हो गई थी। पुलिया में छेद से न्यास अभियंताओं की कार्यशैली पर अंगुली उठी। लेकिन न्यास ने जिम्मेदार एक भी अभियंता के खिलाफ कार्रवाई नहीं की। इस सम्बंध में न्यास की ओर से एक मामला सुभाषनगर थाने में भी दर्ज कराया गया था। एमएनआईटी टीम ने 10 व 11 दिसंबर को भीलवाड़ा पहुंच कर पुलिया की जांच की थी। जांच के लिए टीम निर्माण सामग्री की कटिंग करके सेम्पल साथ ले गई थी। एमएनआईटी के जांच अधिकारी डॉ. अरुण गौड़ ने बताया कि जांच रिपोर्ट 24 जनवरी को डाक के माध्यम से न्यास को भेज दी थी। रिपोर्ट न्यास सचिव को मिल गई है। इस पर मंगलवार को चर्चा होनी थी, लेकिन न्यास सचिव अजय आर्य व विशेषाधिकारी रजनी माघीवाल के वहां मौजूद नहीं होने से चर्चा नहीं हुई। सूत्रों के मुताबिक पुलिया निर्माण में सीमेन्ट के साथ कुछ मात्रा में फ्लाई ऐश मिलाना था, लेकिन इसकी मात्रा अधिक होने से पुलिया निर्माण में गड़बड़ी हुई है। हालांकि इसका खुलासा रिपोर्ट को देखने के बाद ही होगा। वही माना जा रहा है कि दो स्लेब नए सिरे से बनाने होंगे। यह कार्य ठेकेदार को अपनी जेब से करना होगा।
कलक्टर ने दिए थे जांच के आदेश
निर्माण कार्य पूर्ण होने से पहले ही पुलिया का हिस्सा धंसने को लेकर न्यास के प्रशासक एवं जिला कलक्टर आशीष मोदी ने प्रशासनिक जांच कमेटी गठित की थी। वही सुभाषनगर थाने में भी मामला दर्ज करवाया था। यह दोनों जांच रिपोर्ट ठंडे बस्ते में है। पुलिस व अफसरों को जांच रिपोर्ट का इंतजार था।
Published on:
01 Feb 2023 10:24 am
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