बेरोजगारी से राहत के लिए दिए जाने वाला भत्ता भी अब उन्हें परेशान करने लगा है। प्रदेश में दिसम्बर के बाद से बेरोजगारों को भत्ता नहीं मिला है। जबकि भत्ते के लिए जरूरी इंटर्नशिप वे लगातार कर रहे हैं। अकेले भीलवाड़ा जिले में करीब 7 हजार युवाओं का करीब 2.70 करोड़ रुपए का भुगतान अटका हुआ है। योजना में दो साल पूरे कर चुके बेरोजगारों के नहीं हटने से भत्ते के लिए कतार में लगे अन्य बेरोजगारों की संख्या व इंतजार बढ़ता जा रहा है। खास बात यह है कि राज्य सरकार ने प्रदेश में करीब 2 लाख बरोजगारों को हर माह 80 करोड़ रुपए का भत्ता देने का वायदा किया था। लेकिन छह माह से भत्ता नहीं मिल रहा है। भत्ते की फाइल विभाग की ओर से पास करके जिला कोषाधिकारी के पास भेज रखी है, लेकिन सरकार से राशि नहीं मिलने के कारण भत्ता अटका हुआ है।
यह है योजना
राज्य सरकार ने शिक्षित बेरोजगारों को भत्ता देने के लिए राजस्थान बेरोजगारी भत्ता योजना संचालित कर रखी है। योजना के तहत पुरुष बेरोजगारों को 4 हजार तथा महिला एवं विशेष योग्यजन बेरोजगारों को 4500 रुपए प्रतिमाह भत्ता दिया जाता है। इसके लिए चयनित बेरोजगारों को पंचायत राज के अधीन विभागों में दो साल की अवधि तक चार घंटे की इंटर्नशिप प्रतिदिन करनी पड़ती है। इंटर्नशिप लगातार जारी रहने के बाद भी योजना में चयनित जिले के करीब 7 हजार बेराजगारों को छह महीने से भत्ता नहीं मिला है।
बेरोजगारों को अप्रूवल का इंतजार
बेरोजगारी भत्ता नहीं मिलने की वजह से योजना में दो साल पूरे कर चुके लाभार्थी योजना से बाहर नहीं किए जा रहे हैं। ऐेसे में उनकी सीट के लिए कतार में खड़े बेरोजगारों का इंतजार व संख्या भी बढ़ती जा रही है। भीलवाड़ा की ही बात करें तो नई अप्रूवल नहीं मिलने से सैकड़ों बेरोजगार अधर में अटके हुए हैं। प्रदेश में करीब 50 हजार बेरोजगार इस कतार में है।
फाइल पास होकर जिला कोषाधिकारी के पास है
बेरोजगारी भत्ता पिछले कुछ समय से नहीं मिल रहा है। हालांकि जितने भी बेरोजगार पंजीकृत हैं। उनकी फाइल पास करके जिला कोषाधिकारी के पास पड़ी है। लेकिन सरकार से अभी बजट नहीं मिलने से फाइल पास नहीं हो सकी है।
मुकेश गुर्जर, जिला रोजगार अधिकारी भीलवाड़ा
Published on:
16 Jun 2025 09:05 am