8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

कोरोना ने बढ़ाई टेंशन ! 36 लोग पॉजिटिव, 103 बेड का बन रहा ‘कोरोना वार्ड’

COVID-19 Alert: स्वास्थ्य विभाग ने शहर के सभी सरकारी अस्पतालों में कोरोना वायरस से निपटने की तैयारी तेज कर दी है।

2 min read
Google source verification
(फोटो सोर्स: AI Image)

(फोटो सोर्स: AI Image)

MP News:एमपी के भोपाल शहर में कोरोना के दस्तक देने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने शहर के सभी सरकारी अस्पतालों में कोरोना वायरस से निपटने की तैयारी तेज कर दी है। भोपाल सीएमएचओ कार्यालय ने दोबारा अस्पतालों को कोरोना संक्रमण से निपटने की तैयारी शीघ्र पूरी करने का निर्देश दिया है। इस क्रम में शहर के कैलाशनाथ काटजू महिला अस्पताल में भी अलग कोरोना वार्ड बनाने का काम तेज हो गया है।

इसमें 103 बेड होंगे और इसे अस्पताल के सबसे ऊपरी मंजिल पर बनाया जा रहा है, ताकि कोरोना से संक्रमित मरीजों को अन्य मरीजों से अलग रखा जा सके। गुरुवार को सीएमएचओ डॉ. प्रभाकर तिवारी ने राजधानी के सभी सरकारी अस्पतालों के अधिकारियों की बैठक ली थी। बैठक में तैयारियों की समीक्षा की थी।

संक्रमितों को शीघ्र भर्ती का निर्देश

इधर जेपी जिला अस्पताल में कोरोना वार्ड बनकर तैयार है। अस्पताल के सिविल सर्जन और अधीक्षक डॉ राकेश श्रीवास्तव ने डॉक्टरों को कोरोना संक्रमित पाए जाने वालों को शीघ्र ही भर्ती करने का सख्त निर्देश दिया है। उन्होंने बताया कि कोरोना के मरीजों की जांच के साथ ही उपचार के लिए ऑक्सीजन और दवाओं का पर्याप्त भंडार है।

मरीजों से आग्रह मास्क जरूर पहनें

दूसरी स्वास्थ्य विभाग कोरोना संक्रमण के लक्षण से मिलते-जुलते सर्दी-जुकाम व बुखार सहित अन्य लक्षण वाले मरीजों के मास्क पहने पर जोर दे रहा है।

ये भी पढ़ें: एमपी के इस शहर में बनेंगी 11 नई सड़कें, शहरों से कनेक्ट होंगे 50 गांव

सामने आए 17 कोरोना मरीज

पिछले दो दिनों में मध्यप्रदेश में कोरोना से संक्रमित कुल 17 नए मामले सामने आए हैं। इनमें से तीन भोपाल के बताए जा रहे हैं। इसके साथ राज्य में संक्रमितों की संख्या बढकऱ 50 हो गई है। राज्य में अब तक कोरोना के 36 मामले एक्टिव हैं। इनमें से दो मरीज अस्पताल में भर्ती हैं।

इंदौर में पांच मामले

गुरुवार को कुल नौ नए मामले सामने आए। इनमें से सबसे अधिक इंदौर के पांच, भोपाल और ग्वालियर के दो-दो मामले हैं। लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग ने सीएमओ को दिशा निर्देशों के अनुसार तैयारी तेज करने और जिनोम सीक्वेंसिंग की व्यवस्था करने के लिए निर्देश जारी कर दिया है। लेकिन सरकारी अस्पतालों में अभी जांच नहीं हो रही है।