
mpkamahamukabla जन समस्याओं के मुद्दे उठाने से लेकर कार्यकारिणी गठन
मध्यप्रदेश में कांग्रेस उम्मीदवारों के नामों को लेकर विचार विमर्श कर रही है। ऐसे में प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ, चुनाव समिति अध्यक्ष ज्योतिरादित्य सिंधिया और दिग्गविजय सिंह के समर्थकों में खींचतान शुरु हो गई है। हालात यह है कि सभी दिग्गजों के एक दूसरे के क्षेत्र में समर्थक उम्मीदवारी कर रहे हैं। कांग्रेस की एकजुटता का राग अलाप रहे कांग्रेस पार्टी के आलाकमान बार टिकट विरण को लेकर टेंशन में है। खबर है कि अगर दावेदारो के नामो पर एकराय नहीं बनती तो फिर नए नाम पर मोहर लगाई जा सकती है। अगर ऐसा होता है तो कई दावेदारों की उम्मीद पर पानी फिर जाएगा।
सूत्रों के मुताबिक ग्वालियर में इस बार दावेदारों की होड़ लगी है। इनमें सिंधिया खेमें के नेताओं का नाम सबसे आगे है। ऐसे में उनके समर्थक अपने क्षेत्र में दावेदारी की ताल ठोककर अपने नेता के सामने ही परेशानी खड़ी करने का काम कर रहे है।
ग्वालियर पूर्व की बात करें तो यहां से वैसे तो मुन्नालाल गोयल का नाम फायनल माना जा रहा है। लेकिन परेशानी ये है कि वह यहां से पिछले दो चुनाव हार चुके हैं। पार्टी में ही उनके खिलाफ कई नेताओं ने तो उनकी हार का पूरा गणित दिल्ली भेज दिया है। लेकिन गोयल फिर भी अपनी दावेदारी को लेकर आश्वस्त हैं। क्योंकि बीते दोनों चुनाव वह कम अंतर से हारे थे। यहां दिग्गविजय सिंह के समर्थक भगवान सिंह यादव भी ग्वालियर दक्षिण से दावेदारी कर रहे हैं, ऐसे में सिंधिया समर्थक रश्मि पवार, किशन मुदगल और रमेश अग्रवाल दावेदारी कर रहे हैं।
मालवा—निमाड में भी खींचतान
मालवा—निमाड में भी सिंधिया और दिग्विजय सिंह के समर्थकों में खासी खींचतान है। दरअसल दिग्विजय सिंह प्रदेश में 10 साल तक सीएम रहे हैं, ऐसे में उनके प्रदेश में हर जगह समर्थक हैं, जबकि सिंधिया का ग्वालियर—चंबल और मालवा के कुछ हिस्सो में दखल है, उनके समर्थक भी दावेदारी कर रहे हैं। समर्थकों टिकट दिलाने दिग्गजों में मतभेद न उभरे इसे देखते हुए कमलनाथ ने खुद 170 सीटों पर खुद टिकट फाइनल करने का निर्णय लिया है। इन सीटों पर सभी दिग्गज नेताओं को एक राय कर ही टिकट बांटे जाएंगे।
Published on:
23 Sept 2018 01:08 pm
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