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भोपाल। कोरोना वायरस के चलते हर कोई घर पर बैठा हुआ है। इस दौरान हर तीसरा इंसान मोटापे से परेशान है। मोटापा शरीर में जमा होने वाली अतिरिक्त चर्बी होती है जिससे वजन बढ़ जाता है और यही मोटापा कई बीमारियों का घर बनता है। मोटापे का मतलब है, शरीर में बहुत ज्यादा चर्बी होना। जबकि ज्यादा वजनदार होने का मतलब है, वजन का सामान्य से ज्यादा होना। जिस व्यक्ति का BMI यानी बॉडी मास इंडेक्स 25 से 29.9 के बीच होता है, उसे डॉक्टरी भाषा में ओवरवेट या ज्यादा वजनदार कहा जाता है। दूसरी ओर जब BMI 30 या उससे अधिक होता है, तो इसे मोटापा कहा जाता है।
मोटापा घटाने के लिए खान-पान में सुधार जरूरी है। डॉयटीशियन रश्मि श्रीवास्तव बताती है कि अगर आप अपना मोटापा कम करना चाहते है तो आप 'कीटो डाइट' को अपनाएं। अब आप सोच रहे होंगे कि ये 'कीटो डाइट' क्या है....जानिए क्या है 'कीटो डाइट'.....
वजन कम करने वालों में आजकल एक शब्द बहुत चलन में है। वह है 'कीटो डाइट'। हर कोई वजन कम करने के लिए आजकल कीटो डाइट की बात करता है लेकिन ये 'कीटो डाइट' है क्या....कम कार्बोहाइड्रेट की डाइट को 'कीटो डाइट' कहा जाता है। इस डाइट के लेने से शरीर ऊर्जा के उत्पादन के लिए लिवर में कीटोन उत्पन्न करता है। इस डाइट प्लान को कीटोजेनिक डाइट, लो कार्ब डाइट, फैट डाइट जैसे नामों से भी जाना जाता है।
कई बार ज्यादा कार्बोहाइड्रेट वाला खाना खाने से शरीर में ग्लूकोज और इंसुलिन का उत्पादन होता है इसे शरीर में फैट जमा होने लगता है जबकि कीटो डाइट में कार्बोहाइड्रेट का सेवन कम करके फैट से ऊर्जा का उत्पादन किया जाता है। इस प्रोसेस को कीटोसिस कहा जाता है।
इस डाइट में फैट का सेवन ज्यादा, प्रोटीन का मीडियम और कम कार्बोहाइड्रेट वाली चीजें खाई जाती हैं. एक स्टैंडर्ड कीटो डाइट में 70 फीसदी फैट, 25 फीसदी प्रोटीन और 5 प्रतिशत कार्बोहाइड्रेट होना चाहिए। बहुत से बॉलीवुड सेलिब्रिटी भी खुद को फिट रखने के लिए इस डाइट को फॉलो करते है। सोनाक्षी सिन्हा, आलिया भट्ट और अर्जुन कपूर जैसे सेलिब्रिटीज वजन कम करने के लिए कीटो फॉलो करते हैं।
कीटो डाइट में ले सकते हैं ये चीजें
मांसाहारी लोगों के लिए...
मछली
मटन
चिकन
अंडे
शाकाहारी लोगों के लिए...
पत्तेदार साग
पालक
मेथी
ब्रोकली
फूलगोभी
पनीर
उच्च वसायुक्त क्रीम
मक्खन
अखरोट
सूरजमुखी के बीच
नारियल तेल
उच्च वसा वाले सलाद
क्या न खाएं
कीटो डाइट में गेहूं, मक्का, चावल जैसे अनाज को न खाने की सलाह दी जाती है. वहीं चीनी का इस्तेमाल भी बहुत कम मात्रा में करना चाहिए. फलों में सेब, केले और संतरें का सेवन नहीं करना चाहिए. वहीं आलू और जिमीकंद का इस्तेमाल भी नहीं करने के लिए कहा जाता है.
डॉयबिटीज में है फायदेमंद
अगर आप डॉयबिटीज के मरीज है तो कीटो डाइट आपके लिए बहुत फायदेमंद है। ये आपके शरीर के शुगर लेवर को नियंत्रित करके रखता है। कई शोध भी इस बात का खुलासा करते है कि कम कैलोरी आहार की तुलता में मधुमेह को नियंत्रित करने के लिए कीटोजेनिक आहार अधिक प्रभावी तरीका है।
Published on:
20 May 2020 05:08 pm
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