
भोपाल. घरेलू हिंसा के चलते अपने घर से बाहर निकाली गई महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए मध्य प्रदेश पुलिस की महिला अपराध शाखा आगे आई है। दरअसल, पीडि़त महिलाओं द्वारा कोर्ट में दायर किए गए भरण-पोषण के केस यानी सीआरपीसी की धारा-125 के तहत दायर केस में कोर्ट से जारी वारंट की तामीली कराने के लिए प्रदेशभर में 15 सितंबर से विशेष अभियान चलाया गया था।
इसे ऑपरेशन हेल्पिंग हैंड नाम दिया गया। इसके तहत प्रदेशभर के महिला थानों और महिला डेस्क के प्रयासों से 68 फीसदी वारंटों की तामीली कराई गई। गौरतलब है कि वारंट की तामीली नहीं होने से कोर्ट कोर्स में होने वाली देरी के कारण पीडि़त महिलाओं को भरण-पोषण के लिए महीनों इंतजार करना पड़ता है।
घरेलू प्रताडऩा के 5540 प्रकरण: राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक वष-2020 में मप्र में पति या ससुराल पक्ष की प्रताडऩा के कुल 5520 प्रकरण दर्ज हुए थे। इस मामले में 19962 प्रकरणों के साथ पश्चिम बंगाल पहले नंबर पर है। घरेलू हिंसा के मामलों में मप्र सातवें नंबर पर है। इसके अलावा मप्र में दहेज हत्याओं के 608 मामले दर्ज हुए हैं।
4760 दावों में से 3225 में की गई तामीली
ऑपरेशन हेल्पिंग हैंड के जरिए भरण-पोषण के लिए प्रदेशभर में लगाए 4760 दावों में से 3225 की तामीली करवाई गई है। ये केस अब प्रक्रिया में आ गए हैं। ऑपरेशन हेल्पिंग हैंड की सफलता को देखते हुए महिला अपराध शाखा साल में दो बार इस तरह की मुहिम चलाने पर विचार कर रही है। इस मामले में एडीजी महिला अपराध शाखा प्रज्ञा ऋचा श्रीवास्तव का कहना है कि प्रदेशभर में अभियान चलाकर 68 फीसदी वारंटों की तामीली की गई है।
सीनियर सिटीजन 14567 पर करें शिकायत
सीनियर सिटीजन और बुजुर्गों की सहायता के लिए सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय के निर्देश अनुसार राष्ट्रीय वरिष्ठ नागरिक हेल्पलाइन एल्डरलाइन शुरू की गई है। इसका नम्बर 14567 है, इसमें जिले का एसटीडी कोड लगाकर स्वास्थ्य एवं पोषण संबंधी जागरुकता, निदान, इलाज, आश्रय एवं वृद्धाश्रम संबंधी जानकारी, डे केयर सेंटर संबंधी जानकारी और वरिष्ठजन सहायक उपकरण जैसे व्हील चेयर, वॉकिंग स्टिक, श्रवण यंत्र, चश्मा आदि से संबंधित जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। इसके अलावा माता, पिता और वरिष्ठ नागरिकों के भरण-पोषण और कल्याण अधिनियम-2007, दुव्र्यवहार संबंधी, विवाद समाधान (सम्पत्ति, पड़ौसी, परिवार) को लेकर भी मार्गदर्शन प्राप्त कर सकते हैं। अगर परिवार का ही कोई संबंधी या नजदीकी परेशान कर रहा है तो भरण पोषण की शिकायत भी की जा सकती है।
Published on:
20 Nov 2021 06:27 pm
बड़ी खबरें
View Allभोपाल
मध्य प्रदेश न्यूज़
ट्रेंडिंग
