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यूपी में धूम मचाने वाली अब MP में करेगी ‘का बा’

यूपी में धूम मचाने वाली लोकगायिका नेहा सिंह राठौर यूपी में का बा गाने के बाद अब 'एमपी में का बा' की शुरुआत करने जा रही हैं। इस संदर्भ की जानकारी उन्होंने अपने ट्वीटर पर ट्वीट कर दी है। हालांकि उनकी इस तैयारी की शुरुआत ही उनके लिए मुश्किलों का सबब बन गई है...

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भोपाल। यूपी में धूम मचाने वाली लोकगायिका नेहा सिंह राठौर यूपी में का बा गाने के बाद अब 'एमपी में का बा' की शुरुआत करने जा रही हैं। इस संदर्भ की जानकारी उन्होंने अपने ट्वीटर पर ट्वीट कर दी है। हालांकि उनकी इस तैयारी की शुरुआत ही उनके लिए मुश्किलों का सबब बन गई है। दरअसल नेहा सिंह राठौर पर भोपाल के हबीबगंज थाने में एफआईआर दर्ज की गई है। एफआईआर में बताया गया है कि उन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट पर एक विवादित ट्वीट पोस्ट किया है। इस पोस्ट में आरएसएस की यूनिफॉर्म पहने एक व्यक्ति सामने बैठे व्यक्ति पर पेशाब करता दिखाई दे रहा है।

वहीं यह दावा किया जा रहा है कि यह पोस्ट सीधी पेशाब कांड से प्रेरित है। सीधी में एक व्यक्ति ने एक आदिवासी युवक पर पेशाब कर दिया था। एफआईआर में गायिका पर आरएसएस और आदिवासी समुदाय में शत्रुता पैदा कराने का आरोप लगाया गया है। उन पर भारतीय दंड संहिता आईपीसी की धारा 153 लगाई गई है। इस धारा के तहत जाति, धर्म, निवास, भाषा जैसे मामलों में दो समूहों में शत्रुता पैदा करने से संबंधित मामले दर्ज किए जाते हैं।

यहां जाने पूरा मामला

दरअसल, नेहा सिंह राठौर ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक पोस्ट किया है। इस पोस्ट में उन्होंने अपने लोकप्रिय गाने 'यूपी में का बा' की तर्ज पर जल्द ही 'एमपी में का बा' लाने की बात कही है। पोस्ट में एक मीम भी जोड़ा गया है, जिसमें आरएसएस की ड्रेस पहने एक व्यक्ति को सीधी कांड की तरह एक अन्य व्यक्ति पर पेशाब करते हुए दिखाया गया है। इस पोस्ट में अरेस्ट प्रवेश शुक्ला का हैशटैग भी जोड़ा गया है, जो सीधी कांड का आरोपी था। 6 जुलाई को सुबह 10.39 बजे की गई यह पोस्ट बहुत जल्द ही वायरल हुई और चर्चा का विषय बन गई। बाद में लोगों ने इस पर रिएक्ट करना भी शुरू कर दिया।

भोपाल के इस शख्स ने कराई एफआईआर दर्ज

इस पोस्ट को देखने के बाद ही भाजपा के एक कार्यकर्ता सूरज खरे ने इसे आरएसएस और आदिवासियों के बीच वैमनस्यता बढ़ाने का प्रयास माना और इस मामले पर एफआईआर दर्ज करवाई। अब पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच करने की बात कही है।

यहां पढ़ें सीधी कांड

सीधी कांड में भाजपा के एक कार्यकर्ता ने एक आदिवासी युवक पर शराब के नशे में पेशाब कर दिया था। घटना को एक साल पहले का बताया गया है, लेकिन वीडियो वायरल होने पर इसकी जबर्दस्त आलोचना हुई और आरोपी पर कार्रवाई की मांग उठने लगी। इसके बाद मध्य प्रदेश सरकार ने आरोपी पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) लगाते हुए गिरफ्तार कर लिया। आरोपी के घर को भी बुलडोजर से गिरा दिया गया। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने स्वयं पीडि़त का पैर धुलकर उनका सम्मान किया। जबकि कांग्रेस ने इस मामले को राजनीतिक मुद्दा बना लिया था और भाजपा पर आदिवासियों-दलितों का अपमान करने का आरोप लगाया था।