
युवा स्वाभिमान योजना के तहत युवाओं को ट्रैफिक व्यवस्था संभालने की भी ट्रेनिंग दी
युवा स्वाभिमान योजना के अभ्यर्थी देवेंद्र बैरागी पुराने भोपाल स्थित ट्रेनिंग सेंटर पर सुबह ट्रेनिंग लेने पहुंचे। यहां उन्हें बताया गया कि थंब लगा दो फिर दो बजे आ जाना आउटटाम थंब लगाने। इसी तरह रोहित नगर स्थित ट्रेनिंग सेंटर पर 12वीं पास अभ्यर्थी को सिलाई ही ट्रेड दिया जा रहा है। इसी तरह आईटीआई गोविंदपुरा में चल रहे काउंसलिंग के अंतिम दिन युवाओं को स्पष्ट कह दिया है कि अब सिर्फ सिलाई का ही टे्रड मिलेगा। ऐसे में योजना से जुड़े तमाम अभ्यर्थी परेशान है।
उन्हें चिंता ये भी है कि निगम के वार्ड में थंब नहीं लगाने दे रहे। ट्रेनिंग सेंटर पर पसंद की ट्रेड नहीं मिलने से ट्रेनिंग शुरू नहीं की और थंब नहीं लगाया तो वेतन नहीं मिल पाएगा। गौरतलब है कि योजना के तहत युवाओं को 100 दिन का रोजगार देने और कौशल विकास प्रशिक्षण देने पर 13 हजार 500 रुपए का भुगतान किया जाना है।
युवा स्वाभिमान योजना में शामिल अभ्यर्थियों को मनचाही ट्रेड नहीं देने से बने विवाद में एक नया मोड आया है। अब ट्रेनिंग देने वाले सेंटर युवाओं को कॉल कर अपने यहां के अन्य ट्रेड सिखाने की बात कर रहे हैं। ट्रेनिंग सेंटर संचालक बता रहे हैं कि आपका ट्रेड भले ही सिलाई हो, यदि आप मोबाइल रिपेयरिंग सिखना चाहते हैं तो हम सिखवा देंगे। ये सब इसलिए किया जा रहा, ताकि विवाद न बढ़े।
हालांकि युवा स्वाभिमान योजना में शामिल शहर के करीब 650 युवाओं ने मामले को तुल देते हुए एसडीएम को आवेदन देकर सोमवार को सीएम कमलनाथ को इस संबंध में ज्ञापन देने की अनुमति मांगी है। योजना से जुड़े जसवंत अहिरवार ने बताया कि उन्हें रोहितनगर स्थित ट्रेनिंग सेंटर से पसंदीदा ट्रेड देने का कॉल आया था। इसी तरह का कॉल आस्मा खान के पास भी आया। अन्य को भी इस तरह के कॉल आए हैं।
ट्रेनिंग देने का जिम्मा संभालने वाले कौशल विकास बोर्ड के अभिषेक तिवारी का कहना है कि हमारे यहां तो सात ही ट्रेड है और हम इसमें ही ट्रेनिंग दे पाएंगे। इसी बीच ट्रेड और स्थान को लेकर गोविंदपुरा आईटीआई में काउंसलिंग जारी है, लेकिन तीसरे दिन यहां बेहद कम ट्रेनिंग सेंटर और युवा उपस्थित हुए। योजना के अभ्यथी राजकुमार परमार का कहना है कि हमने सीएम हाउस जाकर ज्ञापन देने की अनुमति मांगी है। सीएम को ज्ञापन देकर इस योजना के तहत युवाओं के साथ हो रहे अन्याय को अवगत कराएंगे।
गौरतलब है कि योजना के तहत युवाओं को 100 दिन का रोजगार सुनिश्चित कराना था। इस दौरान कौशल विकास का प्रशिक्षण देकर इन्हें निगम के साथ जोडकऱ फिल्ड वर्क भी कराना था। कुल 13 हजार 500 रुपए की राशि युवाओं को मिलना थी। योजना के तहत ऑनबोर्ड होकर निगम के साथ फिल्ड करते हुए कई युवाओं को 41 दिन से अधिक समय हो गया, लेकिन उन्हें कोई राशि नहीं मिली। निगम इस योजना से पहले ही पल्ला झाड़ चुका है। जोन कार्यालयों से युवाओं को दस दिन से अधिक थंब नहीं लगाने दिया जा रहा।
Published on:
13 Apr 2019 08:10 am
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