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एक गलती से खाली हो सकता है अकाउंट! जानिए सिम-स्वैप और कार्ड स्कैम से कैसे बचें

Credit Card Scam: सिम-स्वैप स्कैम एक ऐसी धोखाधड़ी है जिसमें साइबर अपराधी आपके मोबाइल नंबर को अपने सिम कार्ड में ट्रांसफर कर लेते हैं। आइए जानते हैं इससे बचाव के लिए क्या किया जा सकता है।

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भारत

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Devika Chatraj

Aug 04, 2025

Sim Swap (Image: Patrika)

SIM Swap Scam: आज के डिजिटल युग में साइबर अपराधी नए-नए तरीकों से लोगों को ठगने की कोशिश कर रहे हैं। इनमें सिम-स्वैप और कार्ड स्कैम जैसे फ्रॉड तेजी से बढ़ रहे हैं, जो आपके बैंक अकाउंट को मिनटों में खाली कर सकते हैं। हाल ही में कोलकाता में एक व्यक्ति ने सिम-स्वैप स्कैम के कारण 8.8 लाख रुपये गंवाए, जिसने इस खतरे की गंभीरता को उजागर किया है। आइए जानते हैं कि ये स्कैम क्या हैं और इनसे कैसे बचा जा सकता है।

सिम-स्वैप स्कैम क्या है?

सिम-स्वैप स्कैम एक ऐसी धोखाधड़ी है जिसमें साइबर अपराधी आपके मोबाइल नंबर को अपने सिम कार्ड में ट्रांसफर कर लेते हैं। इसके लिए वे फर्जी दस्तावेज, फिशिंग ईमेल, या सोशल इंजीनियरिंग का इस्तेमाल करते हैं। एक बार नंबर उनके पास आने के बाद, वे आपके बैंक खातों, सोशल मीडिया प्रोफाइल्स और अन्य ऑनलाइन अकाउंट्स तक पहुंच सकते हैं, क्योंकि ओटीपी (वन-टाइम पासवर्ड) उनके पास चला जाता है।

कार्ड स्कैम क्या है?

कार्ड स्कैम में अपराधी आपके क्रेडिट या डेबिट कार्ड की जानकारी चुराकर अनधिकृत लेनदेन करते हैं। यह फिशिंग लिंक, स्किमिंग डिवाइस, या फर्जी वेबसाइट्स के जरिए होता है। स्कैमर अक्सर लॉटरी, ऑफर, या KYC अपडेट के नाम पर आपसे जानकारी मांगते हैं।

सिम-स्वैप और कार्ड स्कैम से बचने के उपाय

  • अनजान नंबरों से आने वाले कॉल्स या मैसेज को नजरअंदाज करें, खासकर अगर वे सिम बंद करने की धमकी दें या KYC अपडेट की मांग करें।
  • किसी भी लिंक पर क्लिक करने से पहले उसकी प्रामाणिकता जांचें। फर्जी लिंक पर क्लिक करने से स्पाईवेयर आपके फोन में इंस्टॉल हो सकता है।

2FA का उपयोग
अपने सभी ऑनलाइन अकाउंट्स (बैंक, ईमेल, सोशल मीडिया) पर 2FA सक्षम करें। यह पासवर्ड के अलावा एक अतिरिक्त सुरक्षा परत प्रदान करता है।

  • मजबूत पासवर्ड और सिम पिन
  • सभी अकाउंट्स के लिए यूनिक और मजबूत पासवर्ड रखें।
  • अपने सिम कार्ड पर एक मजबूत पिन सेट करें ताकि अनधिकृत पहुंच को रोका जा सके।

निजी जानकारी साझा न करें
आधार नंबर, ओटीपी, बैंक डिटेल्स, या KYC से जुड़ी जानकारी किसी के साथ साझा न करें, चाहे कॉलर खुद को बैंक या टेलीकॉम अधिकारी ही क्यों न बताए।

टेलीकॉम ऑपरेटर को सूचित करें
अपने मोबाइल ऑपरेटर से कहें कि सिम स्वैप केवल व्यक्तिगत रूप से या बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन के बाद ही करें।

नाम पर एक्टिव सिम की जांच
टेलीकॉम विभाग के पोर्टल (tafcop.dgtelecom.gov.in) पर जाकर चेक करें कि आपके आधार पर कितने सिम एक्टिव हैं। फर्जी सिम मिलने पर उसे तुरंत ब्लॉक करें।

संदिग्ध गतिविधि की तुरंत शिकायत
अगर आपका फोन अचानक सिग्नल खो दे या संदिग्ध लेनदेन दिखे, तो तुरंत 1909 या cybercrime.gov.in पर शिकायत करें।

DoT के नए नियम

दूरसंचार विभाग (DoT) ने सिम-स्वैप फ्रॉड को रोकने के लिए सख्त नियम लागू किए हैं। अब बिना बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन के नया सिम जारी नहीं होगा, और नए सिम पर 24 घंटे तक SMS सेवा बंद रहेगी ताकि ओटीपी का दुरुपयोग रोका जा सके। इसके अलावा, DoT ने 1.43 करोड़ से अधिक शिकायतें प्राप्त की हैं, जिनमें से 1.14 करोड़ का निस्तारण किया जा चुका है।

कार्ड स्कैम से बचाव

  • वर्चुअल क्रेडिट कार्ड का उपयोग: ऑनलाइन लेनदेन के लिए वर्चुअल कार्ड का इस्तेमाल करें, जो सीमित समय और राशि के लिए वैध होते हैं।
  • एंटीवायरस और सिक्योरिटी ऐप: अपने मोबाइल और कंप्यूटर में विश्वसनीय एंटीवायरस सॉफ्टवेयर इंस्टॉल करें।
  • संदिग्ध लेनदेन की निगरानी: अपने बैंक स्टेटमेंट्स की नियमित जांच करें और असामान्य गतिविधि पर तुरंत बैंक को सूचित करें।

बचाव के लिए सतर्कता जरुरी

साइबर अपराधी लगातार नए हथकंडे अपना रहे हैं, लेकिन आपकी जागरूकता और सतर्कता उन्हें नाकाम कर सकती है। DoT और विशेषज्ञों का कहना है कि सिम-स्वैप और कार्ड स्कैम से बचने के लिए अपनी निजी जानकारी को सुरक्षित रखें और किसी भी संदिग्ध कॉल या मैसेज से दूरी बनाएं।