
चेन्नई. अन्नाद्रमुक से निष्कासित नेता ओ. पन्नीरसेल्वम ने मंगलवार को अपने पूर्व सहयोगी एडपाडी के. पलनीस्वामी पर निशाना साधते हुए कहा पाखंड सफल नहीं होगा और याद दिलाया कि पूर्व मुख्यमंत्री जे. जयललिता ने उनकी वफादारी के लिए उनको (पन्नीरसेल्वम) भरत (भगवान राम के छोटे भाई) की तरह बताया था। पन्नीरसेल्वम ने पलनीस्वामी का नाम लिए बिना कहा उनको अन्नाद्रमुक और उनके प्रति उनकी ईमानदारी व वफादारी के लिए पहचाना जाता है और खुद अम्मा (जयललिता) तक ने उनकी प्रशंसा की थी।
अन्नाद्रमुक महासचिव और पूर्व मुख्यमंत्री पलनीस्वामी ने 23 फरवरी को पन्नीरसेल्वम और अन्य निष्कासित नेताओं को पार्टी में वापस लेने के मुद्दे पर तीखी टिप्पणी करते हुए पन्नीरसेल्वम पर निशाना साधा और कहा गद्दार और वफादार एक साथ नहीं रह सकते। जयललिता की 77वीं जयंती की पूर्व संध्या पर पलनीस्वामी ने अन्नाद्रमुक कार्यकर्ताओं को लिखे पत्र में कहा, क्या भेडिय़ा और मेमना एक साथ रह सकते हैं? क्या खरपतवार और फसल एक साथ उगकर अच्छी फसल दे सकते हैं? क्या एक वफादार और एक गद्दार एक साथ खड़े हो सकते हैं? मैं आप सभी को यह कहते हुए सुन सकता हूं कि यह असंभव है।
पन्नीरसेल्वम ने कहा, अगर अहंकारी पाखंडियों को नहीं हटाया गया तो अन्नाद्रमुक का पतन निश्चित है, विश्वासघात निश्चित रूप से पराजित होगा, पाखंड को कुचला जाएगा और कृतघ्नों को बाहर निकाल दिया जाएगा। उन्होंने आगे कहा वे हमेशा जयललिता के प्रति वफादार रहे हैं, जिन्होंने उनको मुख्यमंत्री के पद पर बिठाया। उन्होंने कहा,मैंने ऐसा नहीं कहा। अम्मा ने खुद कहा है कि भाई पन्नीरसेल्वम ने सही व्यक्ति को गद्दी वापस देकर इतिहास रच दिया है। पन्नीरसेल्वम ने मौजूदा राजनीतिक घटनाक्रम पर कहा, जब बीज बढ़ता है, तो कोई आवाज नहीं होती। लेकिन अगर पेड़ गिरता है, तो बहुत शोर होता है। हर कोई जानता है कि शोर कहां से आता है। उन्होंने दावा किया कि मौजूदा नेतृत्व में अन्नाद्रमुक विनाश की ओर बढ़ रही है।
Published on:
26 Feb 2025 04:28 pm
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