
The monuments of Mahabalipuram have been temporarily closed
चेन्नई. भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण द्वारा महाबलीपुरम में पीएम मोदी व चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग के बीच होने वाली द्विपक्षीय शिखर वार्ता के चलते महाबलीपुरम के स्मारक पर्यटकों के लिए अस्थायी रूप से बन्द कर दिए गए हैं। साथ ही महाबलीपुरम के प्रमुख पर्यटन स्थलों पर आमजन की आवाजाही पर भी रोक लगा दी गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग की यह भेंटवार्ता 11 से 13 अक्टूबर तक होनी है।
यूनेस्को की विश्व धरोहर में शामिल
महाबलीपुरम में वीवीआईपी सुरक्षा के चलते सुरक्षा कारणों को लेकर स्मारकों एवं पुरातात्विक स्थलों को देखने के लिए आमजन के प्रवेश पर अस्थायी रूप से प्रतिंबध लगाया गया है। यहां के प्रमुख स्थलों में पांच रथ मंदिर, मंदिर, गुफाएं एवं समुद्र तट शामिल हैं। पल्लव युग के स्मारकों को यूनेस्को की विश्व धरोहर में शामिल किया गया है।
सीटीटीवी कैमरे लगाए
दोनों प्रमुख नेता इस शिखर वार्ता के दौरान महाबलीपुरम में शोर मंदिर, अर्जुन का तपस्या स्थल व पांच रथ देखने के लिए जा सकते हैं। उनके आगमन के चलते महाबलीपुरम में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। महाबलीपुरम एवं अक्करै के 20 किमी के दायरे में 200 पुलिसकर्मी तैनात करने के अलावा अलग-अलग शिफ्ट में दो डीएसपी, छह निरीक्षक, 500 पुलिसकर्मी लगाए गए हैं। रात्रि गश्त भी बढ़ा दी गई है। साथ ही सीटीटीवी कैमरे लगाए गए हैं।
दो छात्र व छह तिब्बती कार्यकर्ता पुलिस हिरासत में
चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग की भारत यात्रा से पहले तमिलनाडु पुलिस ने दो छात्रों और छह तिब्बती कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया है। ये चेन्नई के सेलयूर में एक होटल में ठहरे हुए थे। बताया जा रहा है कि ये सभी शी जिनपिंग की यात्रा का विरोध करने की प्लानिंग बना रहे थे। हिरासत में लिए गए कार्यकर्ता तिब्बती युवा कांग्रेस और छात्र फ्री तिब्बत-भारत संगठन से जुड़े बताए जा रहे हैं।
Published on:
09 Oct 2019 02:15 pm
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