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वर्तनी का सीधा संबंध उच्चारण से

उच्चारण एवं शब्द ज्ञान पर एक दिवसीय कार्यशाला

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Significance of speech while speaking the language

वर्तनी का सीधा संबंध उच्चारण से

चेन्नई. भाषा के बोलते समय उच्चारण का महत्व है। भाषा के शुद्ध उच्चारण से ही शुद्ध लिखा जा सकता है। दक्षिण भारत हिंदी प्रचार सभा के उच्च शिक्षा व शोध संस्थान की रीडर एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. पी. नजीम बेगम ने यह बात कही। वे बातचीत, उच्चारण एवं शब्द ज्ञान विषयक एक दिवसीय राज्य स्तरीय कार्यशाला में बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रही थी। पेरम्बूर स्थित सीटीटीई महिला महाविद्यालय के हिंदी विभाग के हिंदी परिषद के तत्वावधान में आयोजित कार्यशाला में उन्होंने कहा कि वर्तनी का सीधा संबंध उच्चारण से है। हिंदी Hindi ही नहीं सभी एशियाई भाषाओं में शुद्ध उच्चारण का अपना महत्व है। जिस माध्यम से हम अपने विचारों का आदान प्रदान करते हैं उसे बोली या भाषा कहते हैं। उन्होंने शब्दों के शुद्ध उच्चारण एवं उनके महत्व के बारे में बताया। साथ ही रोचक अंदाज में उच्चारण के नियम समझाए। उन्होंने बेटियों पर लिखी अपनी स्वरचित रचना भी सुनाई।
महाविद्यालय की हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. तस्लीम ए. बानू ने स्वागत भाषण दिया तथा कार्यशाला को विद्यार्थियों के जीवन में तरक्की के लिए बेहतर बताया। मुख्य अतिथि का शॉल एवं मोमेन्टों से सम्मान किया गया। प्रारम्भ में शिवानी कुमारी, निशिप्रिया एवं चांदनी कुमारी ने प्रार्थना प्रस्तुत की। धन्यवाद ज्ञापन छात्रा निशिप्रिया ने दिया। समारोह का संचालन प्रिती कुमारी एवं निशिप्रिया ने किया।