पुलवामा के बाद यह अब तक का सबसे भयावह आतंकी हमला माना जा रहा है। इस घटना ने न केवल आम जनता और सरकार को झकझोर कर रख दिया है, बल्कि संत समाज में भी भारी रोष देखने को मिला है।
जम्मू-कश्मीर के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल, पहलगाम की बैसरन घाटी में हुए भीषण आतंकी हमले ने पूरे देश को स्तब्ध कर दिया है। इस नृशंस हमले में 26 लोगों की जान चली गई जिनमें ज्यादातर पर्यटक थे और 17 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हैं।
चित्रकूट में स्थित जगद्गुरु रामभद्राचार्य महाराज ने हमले की निंदा करते हुए कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि यह केवल आतंकवाद नहीं, बल्कि एक साजिश है जो पाकिस्तान के इशारों पर अंजाम दी गई है। उन्होंने केंद्र सरकार से अपील की कि इस हमले का जवाब उसी कठोरता से दिया जाए जैसा पुलवामा के बाद किया गया था। उन्होंने कहा, “जब तक आतंकियों की लाशें नहीं गिरेंगी, तब तक देश को सच्चा सुकून नहीं मिलेगा।” उन्होंने जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन लगाने और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला की भूमिका की भी निष्पक्ष जांच की मांग की।
संत परम् गुरु ने भी कड़ी कार्रवाई की मांग की। उन्होंने कहा, “अब समय आ गया है कि आतंकियों को ऐसा सबक सिखाया जाए कि फिर कभी भारत की ओर आंख उठाकर न देख सकें।”
पहलगाम हमले के बाद पूरे देश में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। अयोध्या, लखनऊ, वाराणसी जैसे प्रमुख धार्मिक और पर्यटन स्थलों पर सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा कर दिया गया है। अयोध्या में ड्रोन और सीसीटीवी कैमरों से विशेष निगरानी की जा रही है। लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन, अमौसी एयरपोर्ट और बस अड्डों पर सघन चेकिंग की जा रही है। यात्रियों से जांच में सहयोग करने की अपील की गई है और बम निरोधक दस्ते के साथ श्वान दल भी सक्रिय रूप से जांच में जुटे हैं।