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राजस्थान में ऊंट-ऊंटनी के विवाद में पड़ोसन की हत्या, पूरे परिवार को आजीवन कारावास की सजा

Churu News: राजस्थान के चूरू जिले के एक गांव में ऊंट-ऊंटनी के विवाद में पति को बंधक बनाने तथा पत्नी को केरोसिन तेल डालकर जिंदा जलाकर हत्या करने के आरोप में कोर्ट ने चार आरोपियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।

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चूरू

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Santosh Trivedi

May 10, 2024

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सादुलपुर गांव नीमा निवासी मृतक सुमन देवी

सादुलपुर। गांव नीमा में लगभग बारह साल पहले ऊंट-ऊंटनी के विवाद में पति को बंधक बनाने तथा पत्नी को केरोसिन तेल डालकर जिंदा जलाकर हत्या करने के आरोप में अपर जिला सेशन न्यायालय द्वितीय ने आरोपी पति-पत्नी और उनके दो पुत्रों सहित चार आरोपियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। मामले में ऊंट खुलकर आरोपी के बंधी ऊंटनी के पास चला गया। जिससे नाराज आरोपियों ने ऊंट मालिक को बंधक बनाकर पेड़ से बांध दिया। पति को बचाने के लिए जब पत्नी आरोपी के घर गई तो आरोपियो ने केरोसिन तेल डालकर उसे जिंदा जला दिया था

यह था मामला

6 जुलाई 2012 को सुमन पत्नी दिलीप सिंह राजपूत निवासी नीमा ने पीबीएम बीकानेर अस्पताल में पर्चा बयान दिया कि दिनांक 30 जून 2012 की रात्रि को उनका ऊंट घर पर बंधा हुआ था। अचानक खुल जाने के कारण गांव के ही मांगीलाल मेघवाल के घर ऊंटनी के पास चला गया था। तो मांगीलाल ने लाठी मार कर ऊंट को वापस निकाल दिया। ऊंट भी वापस उनके घर आ गया था, लेकिन दिनांक 1 जुलाई 2012 की दोपहर में करीब 2:00 बजे उनका ऊंट फिर खुलकर मांगीलाल की ऊंटनी के पास चला गया था।

नाराज ऊंटनी के मालिक ने ऊंट मालिक को बनाया बंधक

दर्ज पर्चा बयान अनुसार ऊंट दुबारा ऊंटनी के पास चला गया तो ऊंटनी के मालिक मांगीलाल तथा उसकी पत्नी भल्लू देवी, लड़का धनपत सिंह और सुभाष सिंह हाथों में जेली, कस्सी लिए हुए उनके घर पर आए और उसके पति दिलीप सिंह राजपूत पर जेली से हमला कर दिया। जिसके कारण उसके पति जमीन पर गिर गए। उसने बीच बचाव किया तो आरोपियो ने उसे धक्का देखकर गिरा दिया तथा उसके पति को चारों आरोपी घसीटते हुए अपने घर ले गए। घर में कीकर के पेड़ से बांध दिया।

पति को बचाने के लिए पत्नी की गई जान

घटना के बाद पीड़ित सुमन पीछे-पीछे अपने पति को छुड़ाने गई तो आरोपी मांगीलाल उसके दोनों पुत्रों ने कहा कि तू यहां से चली जा वरना जान से मार देंगे। जिस पर उसने कहा कि अपने पति को अपने साथ लेकर जाऊंगी। फिर मांगीलाल ने कहा कि ऐसे नहीं मानेगी इसको जिंदा जला दो। तब मांगीलाल की पत्नी घर से मिट्टी के तेल की पीपी लेकर आई और अपने बेटे धनपत के हाथ में दे दी फिर सुभाष ने उसे पकड़ लिया और उसके ऊपर पीपी तेल डालकर धनपत ने माचिस से आग लगा दी। जिसके कारण उसके कपड़ों में आग लग गई । वह चिल्लाई और शोर शराबा किया तो गांव के लोग मौके पर आ गए। उसके पति को पेड़ से खोला। एंबुलेंस मंगवाकर अस्पताल में उसे भर्ती करवाया। लेकिन चिकित्सकों ने गभीर हालत को देखते हुए सुमन को अस्पताल से बीकानेर रैफर कर दिया।

नौ दिन बाद सुमन की हो गई मौत

पीड़ित सुमन ने दिनांक 5 जुलाई 2012 को उपचार के दौरान बीकानेर के पीबीएम अस्पताल में पर्चा बयान देकर मामला दर्ज करवाया था। आरोपियों पर केरोसिन तेल डालकर जलाने का आरोप लगाया था। दिनांक 15 जुलाई 2012 को उपचार के दौरान सुमन की अस्पताल में मृत्यु हो गई। मामले में हमीरवास थाना पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की एवं जांच कर चालान न्यायालय में पेश कर दिया न्यायालय ने कुल 19 गवाहों को परीक्षित करवाया तथा 23 दस्तावेजों को प्रदर्शित करवाया गया।

पति-पत्नी और दो पुत्रों को सुनाई सजा

मामले में अपर जिला सेशन न्यायाधीश द्वितीय ने आरोपियों को दोषी माना तथा आरोपी मांगेराम पुत्र चन्दगीराम मेघवाल, माली देवी उर्फ भल्लू देवी पत्नी मांगेराम ,धनपत सिंह, सुभाष पुत्र मांगेराम मेघवाल निवासी नीमा को कठोर आजीवन कारावास की सजा से दंडित किया है। मामले में सरकार की ओर से पैरवी अभियोजन अधिकारी न्यायलय द्वितीय सुनील कुमार बसेरा कालरी ने की।