
मेडिकल ज्यूरिस्ट के कार्य को लेकर डॉक्टरों में बढ़ रहा गतिरोध
चूरू. पंडित दीनदयाल उपाध्याय (पीडीयू) मेडिकल कॉलेज से जुड़े राजकीय डेडराज भरतिया अस्पताल में मेडिकल ज्यूरिस्ट के कार्य को लेकर चिकित्सकों में दिनों दिन गतिरोध बढ़ता जा रहा है। यहां प्रत्येक दिन मेडिकल ज्यूरिस्ट बदलते हैं। मेडिकल कॉलेज में मेडिकल ज्यूरिस्ट के पदों पर दो चिकित्सकों (सीनियर डेमोस्टेटर) ने कार्यभार ग्रहण कर लिया है। लेकिन उनके द्वारा ज्यूरिस्ट का कार्य नहीं करने से अस्पताल के चिकित्सकों में आक्रोश है। इस बात को लेकर अस्पताल के चिकित्सक प्रिंसिपल को ज्ञापन भी दे चुके हैं लेकिन अभी तक मामला जस का तस है। नतीजा इस कार्य को लेकर डाक्टरों में टकराव की स्थिति बन गई है। पहले भी कॉलेज कुछ चिकित्सक बिना कार्य किए वेतन लेकर जा चुके हैं। अस्पताल के चिकित्सकों का कहना है कि जब कॉलेज में मेडिकल ज्यूरिस्ट के पद पर दो स्थाई चिकित्सक लगा दिए गए हैं तो उनसे काम क्यों नहीं लिया जाता है। ऐसे में मेडिसिन, शिशु व सर्जरी के विशेषज्ञ चिकित्सकों से काम क्यों करवाया जा रहा है। यहां तक कि वे मेडिकल ज्यूरिस्ट के कार्य में दक्ष भी नहीं हैं। ऐसे में उनके अंदर गलती आदि की संभावना बनी रहती है। पोस्टमार्टम के कार्यों में उन्हे जोखिम के साथ काम करना पड़ता है।
इधर-उधर भटकते हैं मरीज
कोर्ट व एमसीआई की गाइडलाइन के मुताबिक जिला स्तरीय अस्पताल व मेडिकल कॉलेज में फॉरेंसिक में एमडी की नियुक्ति अनिवार्य है। लेकिन सरकार व चिकित्सा विभाग की अनदेखी के कारण यहां फॉरेंसिक में एक भी एमडी चिकित्सक नहीं है। फॉरेंसिक में एक डिप्लोमाधारी को यहां लगाया है लेकिन वे अधिकांश समय कोर्ट पेशी आदि में ही लगे रहते हैं। ऐसे में मजबूरीबस मेडिसिन व सर्जरी के चिकित्सकों को कार्य करने पड़ते हैं। इसके कारण मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। मरीज डॉक्टरों को इधर-उधर खोजते फिरते हैं। लेकिन इसस समस्या को लेकर अस्पताल व मेडिकल कॉलेज प्रशासन गंभीर नहीं है।
इनका कहना है
मेडिकल कॉलेज के फॉरेंसिक विभाग में दो चिकित्सकों ने कार्यभार ग्रहण किया है। उन्हे मेडिकल ज्यूरिस्ट का काम देने के लिए प्रिंसिपल को पत्र लिखा गया है। जल्द ही उनसे अस्पताल में काम करवाया जाएगा।
डा. जेएन खत्री, अधीक्षक, पीडीयू मेडिकल कॉलेज संबंद्ध डीबी अस्पताल, चूरू
कॉलेज में अभी काम काज की व्यस्तता के कारण उनकी ड्यूटी अस्पताल में नहीं लगाई गई थी। जल्द ही उन्हे फॉरेंसिक के कार्य में लगाया जाएगा।
डा. शिवलाल सोलंकी, प्रिंसिपल, पीडीयू मेडिकल कॉलेज, चूरू
Published on:
01 Oct 2018 04:18 pm
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