22 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

नीना ने चौथी बार विरोधियों को चटाई धूल

पार्टी का एक धड़ा हराने की कर चुका था तैयारी

2 min read
Google source verification

धार

image

rishi jaiswal

Dec 04, 2023

नीना ने चौथी बार विरोधियों को चटाई धूल

नीना ने चौथी बार विरोधियों को चटाई धूल

धार. जिले की सबसे हाइप्रोफाइल सीट धार पर एक बार फिर भाजपा ने कब्जा जमाया है। चुनाव में भारी विरोध के बावजूद राजनीति के चाणक्य कहे जाने वाले बीजेपी के वरिष्ठ नेता विक्रम वर्मा अपनी पत्नी नीना वर्मा के लिए चौथी बार जिताने में कामयाब रहे। टिकट वितरण के बाद से पार्टी का एक धड़ा उनके विरोध में खड़ा हो गया। धार सीट पर इस बार चार बड़े चेहरे चुनाव मैदान में उतरे थे। चुनाव में प्रचार के लिए केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह सहित मुख्यमंत्री ने सभाएं ली। वर्मा के साथ उनके दामाद व दिल्ली के सांसद प्रवेश वर्मा ने भी प्रचार किया।

चुनाव में बीजेपी से नीना वर्मा, कांग्रेस से प्रभा गौतम, निर्दलीय के रूप में भाजपा से बागी राजीव यादव और कांग्रेस से बगावत करने वाले कुलदीपङ्क्षसह बुंंदेला थे। चुनाव में राजीव यादव और कुलदीप ने भाजपा और कांग्रेस को खूब परेशान किया। इसके बावजूद दोनों की दाल नहीं लगी। 15 साल के विकास कार्यों पर भरोसा : चुनाव में नीना वर्मा ने अपने 15 साल के कार्यकाल में धार शहर में किए विकास कार्यों को मुद्दा बनाया था। जबकि विरोधी लगातार उन पर परिवारवाद का आरोप लगाते हुए हमला बोल रहे थे। इसके बावजूद वर्मा जनता का भरोसा जीतने में सफल रही।

उधर, कांग्रेस से प्रभा गौतम का यह दूसरा चुनाव था और वह दोनों ही बार हार गई। उसके पति बालमुकुंदसिंह गौतम को भी चुनाव में हार का सामना करना पड़ा। कुल मिलाकर परिवार की यह चौथी हार थी। ऐसे रहा वोटिंग ट्रेड : धार विधानसभा में कुल 11 प्रत्याशी मैदान में थे। इनमें नीना को वर्मा को 86080 वोट प्राप्त हुए। जबकि उनकी प्रतिद्वंदी प्रभा गौतम को 76874 वोट प्राप्त हुए। इस प्रकार नीना वर्मा ने 9206 वोटों के साथ जीत दर्ज की। राजीव यादव 19930 वोटों के साथ तीसरे नंबर पर रहे। जबकि कुलदीपङ्क्षसह को 6150 मतों से संतोष करना पड़ा। वर्मा राजनीतिक अनुभव पर जीर्त विरोधियों ने उन्हें हराने के साथ धार से बाहर भेजने की तैयारी कर ली थी, लेकिन वर्मा ने अपने राजनीति अनुभव के दम पर न केवल जीत दर्ज हासिल की, बल्कि अपने विरोधियों को भी धूल चटाने का काम किया। मैं वचन देता हूं मैने शहर के विकास के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी है। जनता के लिए हर समय तत्पर हूं। ये जनता का प्यार ही है जिसके कारण कई परेशानियों के बीच फिर जीत मिली है।