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पट्टे की फाइल पर 15 दिन में मोहर नहीं तो जिम्मेदारों पर कार्रवाई

नियमों में बदलाव कर दिया है। बदलाव के बाद नगर परिषद सभापति और आयुक्त पट्टे की फाइल को अब 15 दिनों से ज्यादा नहीं रोक सकेंगे। वहीं जिस-जिस अधिकारी के पास पट्टे की फाइल पहुंचेगी तो उसकी जानकारी आवेदनकर्ता के मोबाइल पर मिलेगी।

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पट्टे की फाइल पर 15 दिन में मोहर नहीं तो जिम्मेदारों पर कार्रवाई If the lease file is not stamped within 15 days, action will be taken against those responsible

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- स्वायत्त शासन विभाग ने किया आदेश जारी, हर चरण पर पट्टे का आवेदनकर्ता को मिलेगा फोन पर अपडेट

धौलपुर. जमीन का पट्टा बनवाने के लिए अब आमजन को सरकारी दफ्तर के बार-बार चक्कर लगाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। सरकार को पट्टे जारी नहीं करने को लेकर लगातार शिकायतें मिल रही थी। जिसके बाद अब नियमों में बदलाव कर दिया है। बदलाव के बाद नगर परिषद सभापति और आयुक्त पट्टे की फाइल को अब 15 दिनों से ज्यादा नहीं रोक सकेंगे। वहीं जिस-जिस अधिकारी के पास पट्टे की फाइल पहुंचेगी तो उसकी जानकारी आवेदनकर्ता के मोबाइल पर मिलेगी।शहर के लोगों के लिए अच्छी खबर है, वह अपनी जमीन का पट्टा बनवाने के लिए परेशान हो रहे है तो अब उनको परेशान नहीं होना पड़ेगा। इस उमसभरी गर्मी में अब सरकारी कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेगे।

अभी तक पट्टे के लिए नगर परिषद के चक्कर लगाते थे, जिसमें कभी अधिकारी नहीं तो कभी कर्मचारी नहीं होने से उनकी फाइल मेज पर ही रखी रहती थी। फाइल को महीनें बीत जाते थे, लेकिन वह आगें नहीं बढ़ पा रही थी। लेकिन अब सरकार के बदले नियमों में अधिकारी पट्टे के आवेदनकर्ता को परेशानी नहीं कर सकेंगे। स्वायत्त शासन के निदेशक और विभाग के विशिष्ट सचिव कुमार पाल गौतम ने आदेश जारी किया है। जिसमें कहा कि प्रशासन शहरों के संग अभियान के दौरान पट्टों पर मुख्यमंत्री की फोटो दिखाई देती थी। इस प्रारूप में बदलाव करते हुए अब पट्टा बिल्कुल सामान्य रखने का निर्णय लिया है। पट्टे पर केवल अब पट्टास्वामी की फोटो चिपकाने का निर्णय लिया है। वहीं निदेशक ने सख्य निर्देश दिए है कि अब नगर परिषद के अधिकारी पट्टों की फाइल को 15 दिन से ज्यादा नहीं रोक सकते है।

सात चरणों से गुजरती एक फाइल

अगर आप अपने पट्टे के लिए आवेदन करते है तो आपको सरकार की ओर से नियुक्त नगर मित्र के यहां से आवेदन करना होगा। जिसके बाद वह आवेदन नगर परिषद कार्यालय में पहुंचेगा। जहां से पट्टे की फाइल में लगे दस्तावेजों का सत्यापन होगा। उसके बाद फाइल को आगे बढ़ाया जाएगा। इस फाइल को नगर परिषद के आठ अधिकारी सत्यापन करेंगे। जहां से चलकर आगे पट्टा जारी होगा। वहीं इस पूरी प्रक्रिया के लिए आवेदनकर्ता की ओर से पंजीकृत मोबाइल नम्बर पर हर चरण की अपडेट मिलती रहेंगी। नगर परिषद कार्यालय में अभी तक 60-70 पट्टे की ऑफलाइन फाइल लंबित पड़ी हुई है। जिनपर कार्य चल रहा है। वहीं ऑनलाइन की 8 से 10 फाइल लंबित चल रही है।

आम लोगों को होगा फायदा

शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में पट्टा बनाने के लिए आम लोगों को बार-बार सरकारी दफ्तरों के चक्कर काटने पड़ते थे। किसी-किसी को तो कई बार कोशिशों के बाद भी पट्टा बनने में सालों का समय लग जाता था और अफसर अपने चहतों के पट्टे फाइलों को तुरंत कर देते थे। इन सभी समस्याओं का समाधान को लेकर स्वायत्त शासन निदेशालय की ओर से यह आदेश जारी किया गया है।

रिश्वतखोरी पर लगेगी रोक

अभी तक पट्टे की फाइल का कार्य ऑफलाइन होता था। जिसमें कई ऐसे दलाल आवेदनकर्ता को मिल जाते थे जो जल्दी पट्टा जारी कराने का आश्वासन देते थे। जो आवेदनकर्ता से कई बार दलाली को लेकर रुपए भी वसूल लेते थे। लेकिन उसके बाद भी महीनों फाइल रूकी रहती थी। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। पट्टे की फाइल अब ऑनलाइन होने से सभी प्रकार की रिश्वतखोरी बंद हो जाएगी।

स्वायत्त शासन विभाग की ओर से आदेश जारी हुआ है। जिसके बाद नगर परिषद कार्यालय में सभी को दिशा निर्देश बता दिए गए है। अब सभी ऑनलाइन सिस्टम है कोई भी कर्मचारी पट्टे की फाइल नहीं रोक सकेगा।

- अशोक कुमार शर्मा, आयुक्त नगर परिषद धौलपुर