
After manufacturing service sector also decline due to demand decrease
नई दिल्ली। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ( Manufacturing Sector ) की तरह सर्विस सेक्टर ( Service Sector Growth ) में लगातार गिरावट का दौर जारी है। जहां जुलाई में उत्पादन जून के मुकाबले थोड़ा गिरा है। वहीं सर्विस देने के मामले मामूली तेजी देखने को मिली है। जानकारों की मानें तो राहत की बात तो ये है कि सर्विस सेक्टर पीएमआई ( Service Sector PMI ) का ऐरो उपर की ओर है। इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि स्टैंडर्ड से नीचे अभी भी मौजूद है। जिसके पीछे की वजह से मांग में कमी और रोजगार में गिरावट सबसे बड़ा कारण है।
सर्विस सेक्टर में गिरावट
देश के सर्विस सेक्टर में जुलाई के दौरान भी सुस्ती का माहौल बना रहा। कोविड-19 महामारी की रोकथाम के उपाय के तौर पर किए गए लॉकडाउन का असर सर्विस सेक्टर में जुलाई के दौरान भी देखने को मिला। सर्विस सेक्टर के परचेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स यानी पीएमआई के आंकड़ों के अनुसार बताते हैं कि लॉकडाउन के कारण लॉकडाउन की वजह से गतिविधियां प्रभावित रहीं। आईएचएस मार्किट इंडिया सर्विसेस पीएमआई जुलाई में 34.2 दर्ज किया गया जो जून के आंकड़े 33.7 से थोड़ा ही ऊपर था। यह इस बात का संकेत है कि जुलाई में सेवा क्षेत्र का कारोबार काफी प्रभावित रहा।
मांग में कमी और कर्मचारियों की छंटनी बना कारण
पीएमआई अगर 50 से ऊपर है तो आर्थिक गतिविधियों में तेजी होती है, जबकि इससे नीचे का आंकड़ा सुस्ती का संकेत है। आईएचएस मार्किट ने एक बयान में कहा कि आर्थिक गतिविधियों और नए कार्यो दोनों में कमी पाई गई क्योंकि लॉकडाउन के कारण मांग सुस्त रही कंपनियों को अपना ऑपरेशन बंद करना पड़ा। बयान के अनुसार, इसके चलते कंपनिों को कर्मचारियों की छंटनी करनी पड़ी और नौकरियों में काफी कमी आई। सर्वेक्षण के अनुसार, लगातार तीसरे महीने पूरे साल के आउटपुट का आउटलुक नकारात्मक है क्योंकि आर्थिक मंदी की आशंका बनी हुई है।
Updated on:
06 Aug 2020 08:39 am
Published on:
06 Aug 2020 08:34 am
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