
All India Institute of Medical Sciences , AIIMS, AIIMS result आज 18 जून को aiims exam result 2018 की घोषित किया जाएगा।
All India Institute of Medical Sciences , AIIMS, AIIMS Result आज 18 जून को AIIMS exam result 2018 की घोषित किया जाएगा। इस साल भी कोई टॉपर बनेगा। पिछली साल 2017 में एम्स के एग्जाम में निशिता परोहित ने टॉप किया था। निशिता ने देशभर में पहला स्थान हासिल किया था। 18 साल की निशिता पुरोहित गुजरात के सूरत शहर की रहने वाली हैं। निशिता ने कोटा के Allen Career Institute से कोचिंग की थी।
निशिता की कड़ी मेहनत और लगन से ही ये संभंव हो पाया कि वो देशभर में टॉपर बन पाईं। निशिता के मुताबिक, हर दिन 10-12 घंटे पढ़ाई करती थीं। पढ़ाई के दौरान स्ट्रेस दूर करने के लिए वह योगा भी करती थीं। इतनी पढ़ाई के तनाव को दूर करने के लिए वह हर दिन 20 मिनट के लिए योगा और मेडिटेशन करती थीं। इससे पढ़ाई और उससे जुड़े स्ट्रेस को हैंडल करने में बहुत मदद मिलती थी। सूरत के एस्सार इंटरनेशल स्कूल से 10वीं की पढ़ाई करने के बाद ही निशिता पुरोहित कोचिंग करने के लिए कोटा आ गई थीं।
निशिता का खेल के प्रति पैशन है। निशिता स्कूल और नेशनल दोनों लेवल पर खेलती हैं लेकिन मेडिकल में करियर बनाने के लिए उन्होंने बास्केटबॉल छोड़ दिया था। निशिता पुरोहित को शॉटपुट, डिस्कस थ्रो गेम्स अच्छे लगते हैं। निशिता ने एम्स की तैयारी के दौरान फेसबुक का इस्तेमाल बिल्कुल भी नहीं किया। टीचर्स से बात करने के लिए सिर्फ वॉट्सऐप यूज करती थीं। इसके अलावा निशिता को गाना गाना बहुत पसंद है। निशिता पुरोहित के पिता IIT alumnus हैं, जो उड़ीसा के किसी निजी फर्म में काम करते हैं। पुरोहित की मां होम मेकर हैं और वो फार्मेसी में ग्रेजुएट हैं। निशिता अपनी कामयाबी का पूरा श्रेय अपने कोचिंग इंस्टिट्यूट और माता-पिता को देती हैं। निशिता कहती हैं कि मेरी मां ने मुझे बहुत प्रोत्साहित किया। कोटा में रहने के दौरान मेरी मां बार-बार आती थीं और मुझे प्रेरित करती थीं।
निशिता नेशनल लेवल की बास्केटबॉल प्लेयर रही हैं। निशिता ने 12वीं बोर्ड में 91.4 पर्सेंट नंबर हासिल किए थे। निशिता को यकीन था कि वह एम्स में अपनी जगह तो बना लेंगी, लेकिन टॉपर बनकर उन्हें बेहद खुशी हुई। वह एम्स में कार्डियॉलजी या रेडियॉलजी पढ़ना चाहती हैं। स्कूल और ट्यूशन के अलावा सेल्फ स्टडी पर निशिता ने ज्यादा ध्यान केंद्रित किया। निशिता 6 घंटे कोचिंग क्लास अटेंड करती, फिर क्लास के बाद 6 घंटे सेल्फ स्टडी करती थीं। निशिता के मुताबिक, क्लासरूम में पढ़ाई और होम वर्क करना बहुत जरूरी है। निशिता ने अपने लिए शॉर्ट नोट्स तैयार किए थे जिससे उन्हें परीक्षा की तैयारी में और आसानी हुई।

Published on:
18 Jun 2018 01:15 pm
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