18 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Success Mantra: इस तरह से बनें किसी भी परीक्षा के टॉपर, एक्सपर्ट ने बताया सोशल मीडिया से दूरी क्यों है जरूरी 

Success Mantra: अधिकांश छात्रों ने सोशल मीडिया से दूर रहने को अपना सक्सेस मंत्र बताया। आइए, जानते हैं टॉपर कैसे बनें...

2 min read
Google source verification
Success Mantra

Success Mantra In Hindi: परीक्षा और परिणाम छात्रों के जीवन के दो अभिन्न हिस्से हैं। अभी कुछ दिनों पहले कई सारी बोर्ड परीक्षाओं और कंपटीशन आधारित परीक्षाओं के परिणाम आए। इनमें टॉप करने वाले अधिकांश छात्रों ने सोशल मीडिया से दूर रहने को अपना सक्सेस मंत्र (Success Mantra) बताया। आइए, जानते हैं एक छात्र के लिए सोशल मीडिया से दूर रहना क्यों जरूरी है।

टॉपर्स को लेकर कहा जाता है कि वे अक्सर सोशल मीडिया से दूर रहते हैं। जानकारों का कहना है कि टॉपर्स बनने के लिए सबसे जरूरी है कि रणनीति बनाई जाए और इसका पालन सख्ती से किया जाए। सोशल मीडिया के कारण भटकाव होता है, जिससे आप अपने लक्ष्यों को पूरा करने में चूक जाते हैं। हालांकि, जरूरी नहीं कि सोशल मीडिया (Social Media) से एकदम से दूर रहा जाए बल्कि आप एक सीमा में इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।

यह भी पढ़ें- 12वीं पास करने के बाद बनाएं इस क्षेत्र में करियर, 50 हजार से होगी सैलरी की शुरुआत

रणनीति बनाएं (Success Mantra)

कॅरियर कोच कहते हैं, कोई भी छात्र रातों-रात टॉपर नहीं बनता। रणनीति बनाकर पढ़ाई करना जरूरी है। ऐसे छात्र जो रणनीति के अनुसार चलते हैं और अनुशासन में रहते हैं, उनके टॉप करने की गुंजाइश पक्की होती है। 

यह भी पढ़ें- 12वीं पास करने के बाद बनाएं इस क्षेत्र में करियर, 50 हजार से होगी सैलरी की शुरुआत

ब्रेक लेना भी है जरूरी 

ऐसा नहीं है कि छात्रों को तनाव नहीं होता है इसलिए ब्रेक लेना जरूरी है। यदि आप ब्रेक लेंगे तो आपके भीतर अफसोस की भावना नहीं रहेगी। इस तरह आप ज्यादा अच्छे ढंग से पढ़ाई कर सकेंगे। 

सेल्फ स्टडी है जरूरी (Success Mantra)

टॉपर्स के बारे में कहा जाता है कि बिना कोचिंग के कोई टॉपर नहीं बन सकता है। इस बात में कोई संदेह नहीं कि ज्ञान के लिए गुरु का होना अनिवार्य है, लेकिन कई ऐसे टॉपर हुए हैं, जिन्होंने सेल्फ स्टडी के दम पर सफलता का परचम लहराया है। हालांकि, आप कितने घंटे पढ़ाई करते हैं ये आपकी क्षमता पर निर्भर करता है। कई छात्र एक लगातार 8-10 घंटे पढ़ते हैं तो वहीं कई सिर्फ 3-4 घंटे।