
Interoperable QR Code
नई दिल्ली। कोरोना काल एवं पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) के डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देने की बात से Paytm और Google Pay से पेमेंट करना एक आम बात हो गई है। अब एक ठेलेवाले से लेकर बड़ी दुकान तक में पेमेंट के लिए इन दोनों तरीकों का इस्तेमाल होता है। मगर आरबीआई जल्द ही पेमेंट के इन तरीकों में बदलाव करने वाला है। देश में सुरक्षित लेनदेन को बढ़ावा देने के लिए इंटरऑपरेबल क्विक रिस्पॉन्स कोड (Interoperable QR Code) का इस्तेमाल जरूरी करने के लिए ड्राफ्ट तैयार किया है। माना जा रहा है कि ये प्लान अगले साल मार्च से पूरी तरह से लागू होगा।
कोरोना काल में डिजिटल पेमेंट (Digital Payment) की संख्या में इजाफा हुआ है। इसी के चलते साइबर अटैक भी बढ़ गए हैं। ऐसे में लोग फ्रॉड का शिकार न हो और उनका ट्रांजैक्शन सुरक्षित तरीके से हो सके इसलिए आरबीआई ने नए क्यूआर कोड के इस्तेमाल को जरूरी बताया है। रिजर्व बैंक के मुताबिक पेमेंट सिस्टम ऑपरेटर्स को एक ऐसे क्यूआर कोड सिस्टम में शिफ्ट करना होगा, जो दूसरे पेमेंट ऑपरेटर्स (Payment System Operators) द्वारा भी स्कैन हो सके। नए कोड्स के बारे में जागरुकता फैलाने के लिए पेमेंट सिस्टम ऑपरेटर्स को शुरूआत करनी होगी। आम लोगों को सहूलियत होगी और पेमेंट सिस्टम भी पहले से बेहतर हो सकेगा।
कैसे काम करेगा इंटरऑपरेबल QR कोड
आरबीआई की गाइडलाइन के अनुसार पेमेंट कंपनियों के लिए इंटरऑपरेबल क्विक रिस्पॉन्स कोड (Interoperable QR Code) का इस्तेमाल जरूरी होगा। इंटरऑपरेबल QR ऐसा कोड होगा जिसे आसानी से पढ़ सके। UPI QR और Bharat QR पहले की तरह ही जारी रहेंगे। देश में इस समय तीन तरह के QR कोड Bharat QR, UPI QR और प्रोपराइटरी QR कोड चलन में हैं।
Published on:
23 Oct 2020 08:06 pm
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