
ग्रेटर नोएडा की वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 494 तक पहुंच गया।
उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में लोगों ने शुक्रवार को देश की सबसे जहरीली हवा में सांस ली। ग्रेटर नोएडा की वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 494 तक पहुंच गया, जिसे प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने 'गंभीर' स्थिति के रूप में बताया है। इस बीच, केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) ने अपने हालिया अपडेट में कहा कि निकटवर्ती दिल्ली में एक्यूआई 468 दर्ज किया गया।
वहीं, पश्चिमी यूपी के दो और शहरों, नोएडा और गाजियाबाद में हवा की गुणवत्ता में 'गंभीर' गिरावट दर्ज की गई, क्योंकि उनका AQI क्रमशः 440 और 410 तक पहुंच गया। शून्य और 50 के बीच AQI स्तर को 'अच्छा', 51-100 को 'संतोषजनक', 101- 200 को 'मध्यम', 201- 300 को 'खराब', 301- 400 को 'बहुत खराब' और 401-500 को 'गंभीर' माना जाता है।
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पांच शहरों की वायु गुणवत्ता 'बहुत खराब'
इसी प्रकार यूपी के पांच शहरों में 'बहुत खराब' और 3 में 'खराब' वायु गुणवत्ता दर्ज की गई। बागपत (394), मेरठ (387), हापुड (386), खुर्जा (336) और बुलंदशहर (325), मुजफ्फरनगर (254), वृन्दावन (237) और झाँसी (202) वायु गुणवत्ता सूचकांक रहा।
इस बीच, राज्य की राजधानी (एक्यूआई 174) में स्थिति उतनी खराब नहीं थी, जहां बोर्ड के स्टेशन स्थित कई क्षेत्रों में वायु प्रदूषण अधिक था। तालकटोरा स्टेशन पर शुक्रवार शाम करीब 4 बजे पीएम2.5 (पार्टिकुलेट मैटर 2.5 मिमी) अधिकतम 500 दर्ज किया गया, वहीं पीएम10 383 रहा।
विधायक धीरेंद्र सिंह ने जिलाधिकारी को लिखा पत्र
ग्रेटर नोएडा के जेवर विधानसभा से विधायक धीरेंद्र सिंह ने गौतम बौद्ध नगर के जिला मजिस्ट्रेट को पत्र लिखकर मौजूदा स्थिति से निपटने के लिए आपातकालीन प्रतिक्रिया लेने का आग्रह किया है। उन्होंने एक्स पर पत्र की एक प्रति साझा करते हुए उन्होंने लिखा, “हवा की गुणवत्ता खतरनाक स्तर तक पहुंचने के साथ, मैं सभी से सतर्क रहने और अनावश्यक रूप से बाहर न निकलने की अपील करता हूं। सरकार और प्रशासन को स्थिति से अवगत करा दिया गया है।”
Updated on:
04 Nov 2023 02:32 pm
Published on:
04 Nov 2023 10:34 am
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