
MP Weather Update: सर्दी के सीजन के 40 दिन बीत गए हैं, लेकिन तापमान सामान्य से नीचे नहीं आ रहा है। इस बार के मौसम ने लोगों को हैरान कर दिया है। नवंबर के दस दिन बीतने पर भी सर्दी का असर नहीं दिख रहा। लोग गुलाबी सर्दी तक के लिए तरस गए हैं। इस बीच मौसम विभाग का बड़ा अपडेट आया है कि नवंबर में तेज सर्दी नहीं पडे़गी। हिंद महासागर पर तटस्थ डाइपोल की स्थिति रहने की संभावना है। लानीना का असर भी नवंबर के आखिरी और दिसंबर में रहने की संभावना बन रही है। इस कारण दिन और रात का तापमान बढ़ा हुआ है और नवंबर में सर्दी नहीं आई है।
सर्दियों के इंतजार में फसल बिगड़ रही है। बिना पलेवा की जो सरसों बोई गई थी, वह खराब हो गई है। सब्जियों के उत्पादन पर भी असर पड़ रहा है। मौसम विभाग के अनुसार 25 नवंबर के बाद ही सर्दी में बढ़ोतरी हो सकती है।
मानसून विदा होने के बाद 15 अक्टूबर से रात के तापमान में गिरावट शुरू हो जाती है। अक्टूबर के अंत में सर्दी बढ़ जाती है। नवंबर के पहले सप्ताह में हवा का रुख उत्तरी होने पर तेज गति से तापमान में गिरावट आती है। सर्दी की शुरुआत हो जाती थी। जैसे दिन गुजरते थे, वैसे-वैसे सर्दी और गहराती जाती थी। पिछले दस सालों में पहली बार ऐसा हो रहा है कि लोग गुलाबी सर्दी के लिए तरस गए हैं। मौसम को प्रभावित करने वाले अलग-अलग कारण हैं, जिससे मौसम में बदलाव नहीं आया है।
वर्ष तारीख तापमान
2014 26 9.1
2015 17 9.6
2016 30 10
2017 25 6.3
2018 27 8.0
2019 22 10.3
2020 23 7.9
2021 24 8.0
2022 28 8.0
2023 16 9.0
मौसम विज्ञान…हिंद महासागर में डाइपोल का असर, लानीना का असर माह अंत तक
इस बार नवंबर में ज्यादा तेज सर्दी की संभावना कम है। क्योकि प्रशांत महासागर पर अलनीनो तटस्थ है। हिंद महासागर पर तटस्थ डाइपोल की स्थिति रहने की संभावना है। लानीना का असर भी नवंबर के आखिरी और दिसंबर में रहने की संभावना बन रही है। इस कारण दिन और रात का तापमान बढ़ा हुआ है और नवंबर में सर्दी नहीं आई है। दिसंबर में तेज सर्दी हो सकती है।
डॉ वेदप्रकाश सिंह, निदेशक एवं रडार प्रमुख भोपाल
सरसों को नुकसान
Updated on:
10 Nov 2024 08:15 am
Published on:
10 Nov 2024 08:14 am
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